कसक – बीना शुक्ला अवस्थी : Moral Stories in Hindi

शारदा देख रही थी कि जबसे उसकी प्यारी पोती गोपिका का विवाह तय हुआ है, उसके चेहरे की मुस्कान और हॅसी नकली हो गई है। वह बाहर से सबको दिखाने के लिये हंसती मुस्कुराती है लेकिन उसके अन्दर कोई द्वंद्व चलता रहता है।  ऐसा भी नहीं है कि नवल से विवाह के लिये किसी ने … Read more

स्वतंत्रता सेनानी देशभक्त अमर सपूत – डाॅ उर्मिला सिन्हा : Moral Stories in Hindi

  आ  रामविलास नारायण सिन्हा किसी परिचय के मोहताज नहीं हैं।  इन्होंने अकेले और पत्नी के साथ ब्रिटिश हुकूमत को उखाड़ फेंकने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। अपनी कालेज की पढ़ाई छोड़ वे स्वतंत्रता आंदोलन में कूद पड़े। वे महात्मा गांधी की तरह अहिंसा के पुजारी थे असहयोग आंदोलन, सविनय अवज्ञा, भारत छोडो़ आंदोलन, नमक कानून में … Read more

करवट बदल ली – कंचन श्रीवास्तव : Moral Stories in Hindi

आज अपने पत्नी के चेहरे को देखकर उसके दर्द  को महसूस कर रहा । हो भी क्यों ना  ये वही है जो हर वक़्त गुस्से में रहती थी ,ज़िद्दी ऐसी कि किसी की कोई बात न सुनी,हर वक़्त घर का माहौल खराब किये रहती थी ।कुल मिला के इसको हर किसी से कोई ना कोई … Read more

मेरी पहली कमाई का हकदार कौन – सिन्नी पाण्डेय : Moral Stories in Hindi

रूबी अपने स्कूल से लौटकर आई तो एक अलग ही आत्मविश्वास और चमक उसके चेहरे पर थी और हो भी क्यों न आख़िर आज उसे उसके जीवन में पहली बार खुद की मेहनत से कमाए हुए रुपये जो मिले थे। आज उसको पढ़ाते हुए एक महीना पूरा हो गया था और उसके हाथ मे उसकी … Read more

एहसास – खुशी : Moral Stories in Hindi

जमुना प्रसाद जी और जानकी जी के तीन बेटे अमर अजय और  केशव थे और कुछ वर्ष बाद एक बेटी गीता हुई सब भाइयों में सबसे छोटी पिताजी उसे प्यार करते पर मा का दिल तो अपने बेटों में था।जमुना प्रसाद की कपड़ों की दुकान थी बीच बाजार में जो चलती भी बहुत थी।बड़ा बेटा … Read more

जादुई दर्पण – नीरज श्रीवास्तव : Moral Stories in Hindi

रजनी के किच-किच से तो मैं परेशान हो चुका हूँ। जब देखो लड़ती रहती है। आज तो घर जाऊँगा ही नहीं, चाहे कुछ भी हो जाये।”   मन में बुदबुदाता हुआ, मनोज पार्क में आकर बैठा ही था कि हवाओं ने बहना शुरू कर दिया। जैसे हवाओं को उसके आने का एहसास हो गया हो। मनोज … Read more

यादों की पोटली – प्रतिमा पाठक : Moral Stories in Hindi

बात उन दिनों की है, जब मैं शिक्षिका थी।दिल्ली के एस.जे. मॉडल स्कूल में मैंने तीन वर्षों तक अध्यापन कार्य किया। यह केवल नौकरी नहीं थी, बल्कि आत्मा को संतुष्टि देने वाला अनुभव था। कक्षा की चौखट पर कदम रखते ही ऐसा लगता था मानो जीवन रूपी किताब का एक नया पन्ना खुल रहा हो। … Read more

पापा , मेरे लिए लोन ले लो – स्वाती जैन : Moral Stories in Hindi

पापा , मुझे फाल्गुनी पाठक वाली नवरात्री में खेलने जाना हैं , प्लीस पास लेने के लिए हजार रुपए दे दो सिम्मी अपने पापा चंदुलाल जी से प्यार से बोली !! सिम्मी की मां सीमा जी बोली – इस लड़की ने तो परेशान कर दिया हैं , कभी शापिंग , कभी घूमना , कभी फाइव … Read more

आप अपने बेटों के साथ क्यों नहीं रहते – प्रतिमा श्रीवास्तव : Moral Stories in Hindi

“आप अपने बेटों के साथ क्यों नहीं रहते ” रमन के इस सवाल ने कैलाश जी को झकझोर दिया था। “मैं एक पिता हूं ना की कोई चीज जिसे घर का एक कोना तो दे दिया जाता है लेकिन दिलों में स्थान नहीं। जहां हर पल मेरे सम्मान को ठेस लगती है। कभी हमारे पहनावे … Read more

बीवी का गुलाम – प्रतिमा श्रीवास्तव : Moral Stories in Hindi

“बहू क्या कान भरे हैं तुमने मेरे बेटे के जो आज उसने मुझसे सवाल जबाव करने की हिम्मत की है ” कुसुम जी बौखलाई हुई मीता के पास आईं।जिस बेटे ने मेरे सामने निगाह उठा कर भी बात नहीं किया आज वो तुम्हारी वकालत करने को खड़ा हो गया है। कुसुम जी के इगो पर … Read more

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