कर्ज – विमलभारतीय ‘शुक्ल’

कामिनी पूरे घर में निर्देश देती घूम रही थी, जैसे कोई आयोजन हो। पर यह आयोजन नहीं, विदाई की तैयारी थी—उस व्यक्ति की, जिसने कभी इस घर को अपने कंधों पर खड़ा किया था। “पिता जी से कह दो, अंदर वाले कमरे में चले जाएँ, कुछ लोग मिलने आने वाले हैं।”कामिनी ने नौकर को आदेश … Read more

अधिकार – पूनम भारद्वाज : Moral Stories in Hindi

बिल्कुल नही ….अमन! ये संभव नहीं। ये शादी नहीं हो सकती, तुमने सोच भी कैसे लिया ,तुमने फैसला कर लिया,आगे बढ़ने से पहले हमें बताते तो सही..! मां मैं आशना से प्यार करता हूं और प्यार क्या मैं आपसे पूछ कर करता ? नही अमन। ये नही होगा,तुम्हें अपना फैसला बदलना होगा। मां फैसला आपको … Read more

ये ननद का घर है तो मेरा घर कौन सा है? – रश्मि प्रकाश : Moral Stories in Hindi

“ज़िन्दगी का हर एक दिन अच्छा हो ये कोई ज़रूरी नहीं है….. कभी कभी बुरे दौर से भी ज़िन्दगी गुजरती है…. बस हमें हिम्मत और संयम से उसका सामना करना चाहिए….. चल उठ मेरे लिए चाय बना कर तो ला जरा।”रमाकान्त जी बेटी के सिर पर हाथ फेरते हुए बोले “ पर पापा …..।” राशि … Read more

वो सुबह कभी तो आएगी – के कामेश्वरी : Moral Stories in Hindi

राघव और रचना जब चालीस पैंतालीस उम्र के पड़ाव पर पहुँचते हैं तो रात के सोते समय भी वे दोनों प्यार भरी बातें नहीं करते हैं ।  राघव ने कहा — रचना गैस बंद किया है न अलार्म लगाया है कि नहीं कल  रवी और सुंदर को जल्दी उठना है ठीक है ।  रचना भी … Read more

सिंदूर – करुणा मलिक : Moral Stories in Hindi

वृंदा, कल समय पर तैयार हो लेना , मानव का रिश्ता तय हो गया और बहू को अंगूठी पहनाने चलना है तुम्हें और बुआ जी को हमारे साथ । भाभी, मम्मी जी को कह दूँगी, अभी तो वो मंदिर गई है पर माफ़  करना , मैं नहीं जा पाऊँगी ….. क्यों….. नहीं-नहीं चलना है । … Read more

सोने के कंगन – करुणा मलिक : Moral Stories in Hindi

मुग्धा, विवाह की पहली वर्षगाँठ की बहुत बहुत बधाई! आज मैंने दफ़्तर से छुट्टी ली है, चलो कहीं बाहर घूम कर आएँगे और खाना भी बाहर ही खाएँगे । अरे हाँ, माँ ने विशेष रूप से कहा है कि तुम्हारी मनपसंद कोई उपहार भी दिलवा दूँ, बताओ … क्या चाहिए? आपने कह दिया तो समझो … Read more

हर सास बुरी नहीं होती – बीना शर्मा : Moral Stories in Hindi

रात के 2:30 बजने वाले थे लेकिन नंदिनी की आंखों से नींद कोसों दूर थी बार-बार आने वाली हिचकी ने उसे परेशान कर रखा था जैसे ही वह सोने की कोशिश करती तभी उसे हिचकी आ जाती उसे समझ में नहीं आ रहा था कि कैसे वह इस समस्या से निजात पाएं दिनभर ऑफिस में … Read more

किसी की नज़र ना लगे । – करुणा मलिक : Moral Stories in Hindi

रावी , कल छोटी बहू के मम्मी- पापा आ रहे हैं, नाश्ते – पानी का अच्छे से इंतज़ाम करके रखना ।  माँजी , क्या मेघा से पूछ लूँ कि आँटी- अंकल को क्या पसंद है, उन्हीं की पसंद का बना लूँगी । अरे वो बड़े लोग हैं । उनकी पसंद के चक्कर में  सामान भी … Read more

हम तो बेटी बनाकर लाएँ है – करुणा मलिक : Moral Stories in Hindi

समधिन जी , आप क्यों इतना रो रही है? जब चाहें बुला लिया करना मानवी को या खुद चली आया करना , दूर ही कितना है , एक- डेढ़ घंटा बस ……देखना , कैसे बेटी बनाकर रखेंगे हम ।  मानवी के कानों में अक्सर विदाई के समय कहे गए अपनी सास अंजू के स्वर गूँजते … Read more

घुटन – करुणा मलिक : Moral Stories in Hindi

अपने आप तो बाबूजी और माँजी चले गए , इस रूपा को सारी ज़िंदगी हम झेलें , पैंतालीस की हो चुकी …. अब तो शादी होने से रही ……तुम्हारा छोटा भाई परिवार को लेकर नौकरी पर चला गया । एक मैं और मेरे बच्चे, हम निभाते रहे सारे रिश्ते… .  पुष्पा! रूपा  दीदी इस घर … Read more

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