गुरु दक्षिणा – विनय मोहन शर्मा : Moral Stories in Hindi
देवव्रत शास्त्री शहर में एक माध्यमिक विद्यालय में हिंदी के शिक्षक थे। उनको छात्र मास्साब कहकर संबोधित करते थे। वह अपने छात्रों से पुत्रवत स्नेह रखते थे और उनकी गल्तियों पर उन्हें डांटने के स्थान पर स्नेह पूर्वक समझाते। अपने छात्रों को पढ़ाने में बहुत मेहनत करते थे, जिसका ही परिणाम था कि उनके विद्यालय … Read more