काश..एडजस्ट करना नही,बल्कि जवाब देना सिखाया होता। – ममता गुप्ता

अरे रितु!! तू अचानक से यहाँ कैसे….तेरे ससुराल में सब ठीक तो है ना..औऱ तेरे चेहरे पर ये निशान कैसे…? कुछ हुआ है क्या….? रमा ने बेटी रितु से कहा।।। माँ मुझे …वहाँ नही रहना… वो लोग इंसान नही दरिंदे हैं..मुझे बचा लो माँ… मैं तलाक चाहती हूं।। तलाक शब्द रितु के मुँह से सुनते … Read more

अपने लिए जीने का कब सोचेगी ? – मीनू झा 

यार मैं तुझसे मिलने आई हूं, बातें करने आई हूं तेरे साथ समय गुजारने आई हूं…ये खाना पीना और खातिरदारी करवाने नहीं पर तू तो समय ही नहीं दे रही मुझे..इससे अच्छा और ज्यादा समय तो तू मुझे वीडियो काॅल पर दे देती थी बस अभी आई चित्रा थोड़ा सा समय दें..सारा काम निपट ही … Read more

वर्ना… वर्ना क्या कर लेंगीं आप?? – सविता गोयल

नीलम एक मध्यमवर्गीय परिवार की पढ़ी लिखी, सर्वगुण संपन्न लड़की थी। उसके पिता उसके लिए रिश्ता देख हीं रहे थे कि नीलम की बुआ एक बड़े घर का रिश्ता लेकर आ गई। देखने सुनने में सब अच्छा लगा तो नीलम के पापा ने नीलम की रजामंदी से उसका रिश्ता वहीं तय कर दिया।    नीलम भी … Read more

बेटी मुझे माफ़ कर दे ,मैं तेरी खुशियों का गुनहगार हूँ। – ममता गुप्ता

आज कई बरसो बाद वो अपनी माँ के आगे बिलख पडी..। अरे !! क्या हुआ मेरी लाडो..तुम इतना रो क्यो रही हो..? इतनी सालों में आज माँ से मिली हैं शायद इसलिए बिलख बिलख कर रो रही है ना… यसोदा जी ने अपनी बेटी नमिता को गले लगाते हुए कहा।। माँ!” मैं अब ससुराल कभी … Read more

हैप्पी न्यू इयर” – उषा भारद्वाज

          आज नव वर्ष का पहला दिन ,सभी लोग कॉल मैसेज कर रहे। शुभकामनाओं का तांता लगा हुआ है। जाने क्यों मन में एक  बात आ रही है कि सब कुछ वैसा ही है, जैसे बीता हुआ कल था । बदली है तो सिर्फ वर्ष की संख्या।  हर बात वही है। दिन की शुरुआत की … Read more

अनजान फोन से दिल के रिश्ते मजबूत हो गए – ममता गुप्ता

आज सुबह से ही बार बार फोन बज रहा था। जैसे ही राधा फोन रिसीव करती वैसे ही फोन कट हो जाता। पता नही आज सुबह से कौन फोन किए जा रहा है औऱ बात भी नही करता/करती हैं।। “राधा बार बार अनजान नम्बर से फोन आने से परेशान हो रही थी,उस फोन की वजह … Read more

 रिश्ता कागज के नोटों का!! – मनीषा भरतीया

नीता की शादी जिस घर में हुई थी वो लोग बहुत लालची थे यह बात नीता और उसके घर वालों को पहले समझ में नहीं आई उन्होंने तो बस लड़का देखा अच्छा लगा और कर  दी नीता की शादी! नीता से शादी के पहले ही नरेश (नीता का पति )सारे घर का खर्चा उठाता था|, … Read more

 मानो मेरी बोली लगाई जा रही थी…. – भाविनी केतन उपाध्याय 

” तुम्हारे तो मज़े है भाई , ससुराल भी नजदीक और खुद का घर भी …. रोज़ ससुराल आना जाना लगा ही रहता होगा और मुझे लगता है कि तुम बहुत किस्मत वाले हो जो दो दो घरों का खाना खानें को मिलता है । कभी कभी हमें तुम्हारी ईर्ष्या होने लगती है…” केन्टिन में … Read more

चाहत को मिले पंख – लतिका श्रीवास्तव

अरे सुधांशु ए सुधांशु….पापा की अनवरत आती हुई आवाजों ने सुधांशु को बेचैन कर दिया वो लपक कर कमरे से बाहर निकल आया .. हां पापा क्या हुआ !!!ऐसे क्यों आवाज़ दे रहे हैं आप..!बताइए क्या हो गया बहुत परेशान दिख रहे हैं….!!बेटा बैंक से मेरे रुपए कोई निकालता जा रहा है .. ये देखो … Read more

लव आजकल  – डॉ उर्मिला शर्मा

लड़के- लड़कियां होटल के बाहर ओला कैब के आने का वेट कर रहे थें। तभी शिवानी की मम्मी का कॉल आया- “कहाँ हो बेटे?” “बस! मम्मी निकल रही हूं, ओला का वेट कर रही। होस्टल पहुंच कर फोन करती हूं।” रात के साढ़े ग्यारह हो गये थे। शिवानी जब भी होस्टल से बाहर जाती मम्मी … Read more

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