तुम मना पाओगें उसे, मुझे नहीं लगता वो मानेंगी? क्यों नहीं मानेंगी , तुम ही कहती हो वो वो मुझ पर गयी हैं सुनती भी नहीं हैं ।। हाँ सही कहती हूँ मैं वो तुम पर गयी हैं पर इस बार मैं तुम्हारी ओर तुम्हारी बेटी की नही सुनने वाली नही सुनेंगी तो थपड़ जड़ दूंगी ,
अरे बाबा नहीं मैंने उसे कह दिया हैं वो नही आएंगी तुम्हारें साथ तुम्हारी अकेली की ही टिकट बनी हुई हैं, ओर तुम आ रही हो वो तेरे साथ नहीं आएगी ।
दूसरे दिन दोपहर पू जब जम्मू एयरपोर्ट से बाहर आ निकल रही थी तब उसकी नजर जिसकों ढूंढ रही थी वो उसके सामने उसका इंतजार कर रहा था ,
पू ओर विकास इस तरह एक दूसरे से लिपट गए जैसे बरसों से नही मिले
विकास आर्मी में था शादी को 20 साल हो गए थे , हनीमून को छोड़ दो तो वो अपनी वाइफ पू को कभी बाहर घुमाने नही ले जा पाया ।
एक, दो , बार वो साथ मे जरूर गयी परंतु बेटी बड़ी थी वो अपने पापा को एक मिनट के लिए भी नही छोड़ती थी
पू ने इस बार सिर्फ एक ही शर्त पर आने की हाँ की
तुम्हारी बेटी मेरे साथ नही आएंगी। विकास ने समझाया भी बहुत वो जानता था कि वो अपने बेटी के कितने करीब हैं
परन्तुं विकास पू की भी भावनाएं समझता था , ओर उसे अपनी बेटी को किया वादा भी याद था कि तुम भी आओगी
विकास और पू दोंनो खुश थे , नदियां झरने , नीला आकाश बर्फ से ढकी पहाड़ियां , गुलमर्ग हर एक जगह जैसे इन दोनों के कारण कुछ ज्यादा ही आकर्षण लगने लगे थे
दोनो एक दूसरे की हर फैंटेसी डूब रहे थे ।
इतने में एक धीमी धीमी आवाज डांटने जैसी तो नही थी पर उसमे प्यार ज्यादा डाट सब्ज़ी में नमक की तरह थी
तुम इस डायरी को मत पढ़ो पूविका
पूविका डायरी दूसरी तरफ रखते हुए अपनी दादी से लिपटकर रोनें लगी
मेरी बेटी तुम तो कहती थी अपने पापा से की आपका बेटा मैं हूँ और मैं दादी माँ का ख्याल रख लेती हूं आप चिंता मत मत किया करो
दादी माँ क्या आर्मी में लड़कियां भी जॉइन कर सकती है,
मैं पापा की तरह बनाना चाहती हूं
दादी ने पूविका से कहा बेटे ये डायरी रोनें के लिए नही थी तुम को
मैनें तुम को इसलिए दी थी कि तुम अपने पापा जैसी रहो उसके जैसी बनो अपने पापा से जुड़ी हर बात तुम को जानने का हक़ है, आज के बाद तुम रोई तो मैं तुम से ये डायरी वापस ले लुंगी
पू जब विकास के पास गई थी , उसके 10 दिन बाद आर्मी की एक गाड़ी पर हमले में पू ओर विकास शहिद हो गए थे ।
पूविका ने डायरी उठा कर उसके अंतिम पेज पर कुछ लिखा
मेरे हीरो मेरे पापा आप सिर्फ एक ही वादा नही तोड़ा कई ओर वादे तोड़ गए
आप ने कहा था कि आप मुझे एक पायलट बनते देखना चाहते हो , आप मुझे दुल्हन बना कर विदाई में रोना चाहते हो
आप मेरे बॉयफ्रेंड को डांटना चाहते थे उसका इंटरव्यू लेना चाहते थे आप ने वादा किया था कि आप हमेशा मेरे साथ रहोगे
पापा आप ने बहुत सारे वादे तोड़ दिए
पर मैं अपना हर वादा निभाउंगी आप मेरे हीरो हैं
आपका बेटा
पूविका
(पूजा ,वीरता, विकास = पूविका)
#दिनेश_पारीक_writer