मनमीत और रेखा की शादी हुए तीन साल हो गए थे उसकी पत्नी रेखा बहुत ही सुंदर और सरल स्वभाव की थी पूरा दिन घर के काम में लगी रहती। सारा काम करने के बाबजूद उसकी सास हमेशा उसे कोसती रहती बात बात पर ताने मारती रहती क्योंकि शादी के तीन साल बाद भी रेखा को कोई बच्चा नही हुआ था। उसकी सास उसे कितने ही बाबाओं के पास ले जाकर दिखाती हर कोई आश्वासन देता और मोटी रकम बसूलता मगर परिणाम शून्य ही रहता।
मनमीत एक मल्टीनेशनल कंपनी में मार्केटिंग का काम करता था जिस सिलसिले में बो ज्यादातर घर के बाहर ही रहता था वो इस सब से अनजान था और रेखा ने भी कभी उसे इस सब के बारे में नही बताया। मनमीत रेखा से बहुत प्यार करता था पति के प्यार की बजह से ही रेखा चुपचाप सास के ताने सुनकर भी अनसुना कर देती और सिर्फ अपने काम मे ध्यान देती थी।
आज मनमीत दो महीने के बाद घर आया रेखा बहुत खुश थी पति का मनपसंद खाना बनाया सास को खाना खिलाने के बाद खुद खाया और सोने चली गई। सुबह होते ही सास ने मनमीत को बुलाया और कहा कि सुनो बेटा मैने बहु के घरवालों को फ़ोन कर दिया है वो आते ही होंगे आज हमें तुम्हारे भविष्य का फैंसले बैठकर करना है
और कितने दिन तक यूँ ही देखते रहेंगे। मनमीत ने हैरानी से मां को पूछा कि किस बात का फैंसला? मां ने कहा कि तुमसे कुछ छिपा है क्या ? तुम्हे समझ नही आता जो हो रहा है क्या तुम्हें दिखाई नही देता ? मैं जानती हूँ तुम ऊपर से ऊपर से हंसते हो मगर अंदर कितना दर्द है मुझसे छुपा नही है। मनमीत ने कहा मगर मैं कुछ समझ नही पा रहा हूँ आप कहना क्या चाहती हैं?
सुनो मैं ज्यादा लेट लपेट के बात नही करती सीधी बात है जब तक ये घर मे रहेगी तुम्हारा बंश आगे नही बढ़ सकता आखिर मेरे भी सपने हैं कि मैं अपने पोते पोतियों को गोद मे उठाऊं उनके साथ खेलूं आखिर और कितने साल तक इंतजार करेंगे तुम्हारी बहु बांझ है वो कभी मां नही बन सकती और ऐसी बहु को और कितने दिन सिर पे बिठाकर रखेंगे?
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मैंने अपनी तरफ से पूरी कोशिश की हर जगह इसे दिखाया मगर अब मेरी सब्र का बांध टूट चुका है। मनमीत फिर बोला कि मां तुम्हे ये सब किसने बताया कि वो मां नही बन सकती ऐसी कोई बात है भी तो हम डॉक्टर को दिखाएंगे आजकल ऐसी कोई समस्या नही है आजकल साइंस बहुत तरक्की कर चुकी है ऐसे बहुत से रास्ते हैं जिससे मां बनना बिल्कुल आसान है।
देख बेटा मुझे ये सब नही पता इसके मां बाप को आने दे अब जो भी बात होगी उनके सामने होगी कहकर शांता देवी अपने कमरे में चली गई। कुछ ही देर बाद रेखा के माँ बाप आ गए। बातचीत शुरू हुई तो शांता देवी ने साफ साफ कह दिया कि अब हम आपकी बेटी को और ज्यादा नही रख सकते मैं अपने बेटे की जिंदगी बर्बाद होते नही देख सकती आप लोग आज ही इसे अपने साथ लेकर चले जाओ मैं पंचायत इकट्ठा करती हूं आप लोग पंचायत में तलाक देकर जो भी आपका सामान है ले जाओ और हमे बख्श दो।
ये सब सुनकर मनमीत गुस्से में बोला कि मां तुमने ये सोच भी कैसे लिया कि मैं रेखा को तलाक दे दूंगा बच्चा होना न होना भगवान की मर्जी है और इसकी क्या गारन्टी है जो दूसरी आएगी उससे बच्चा हो ही जाए? तुमने इतनी आसानी से कह दिया सोचो ” माँ मेरी पत्नी की जगह आपकी बेटी होती तो” क्या उसे बापिस अपने घर बुला लेती? क्या तुम उसे अपने घर मे तड़पते हुए देख पाती जब लोग उसे ताने देते तो उसके दिल पे क्या गुजरती? रही बात बच्चे की तो आज ही हम दोनों अपना टेस्ट करवाएंगे कम से कम पता तो चले कि कमी उसमे है या मुझमे? हो सकता है कि कमी मुझमे हो?
काफी देर बहस के बाद शांता देवी ने कहा कि ठीक है तुम दोनों अपना टेस्ट करवालो मगर यदि ये बांझ हुई तो मैं इसे यहां नही रखूंगी ये बात साफ है। अगले ही दिन दोनो ने टेस्ट करवाये रिपोर्ट आई तो पता चला कि रेखा बिल्कुल ठीक थी उसमें कोई कमी नही थी मनमीत में कुछ कमी थी जो दवाई से बिल्कुल ठीक हो सकती थी । एक महीना दवाई खाने के बाद टेस्ट करवाए तो मनमीत की रिपीट भी पॉजिटिव आई । दो महीने के भीतर ही रेखा के गर्भवती होने की खवर मिली तो घर मे खुशिओं का माहौल था मगर शांता देवी मायूस थी रेखा ने सास को लड्डू पकड़ाते हुए पूछा मम्मीजी क्या अभी भी आप खुश नही हो अब तो आप दादी बनने वाली हो।
शांता देवी ने लड्डू पकड़ते हुए आंसू पोंछते हुए बोली कि बेटी मैं खुश तो बहुत हूँ मगर शर्मिंदा भी हूँ जो मैंने किया वो माफी के लायक तो नही है मगर हो सके तो मुझे माफ़ कर देना न जाने स्वार्थ में अंधी होकर मैने तुम्हे क्या क्या बोल दिया । रेखा ने सास को गले लगाते हुए कहा कि मां जी जो होता है अच्छे के लिए होता है
अगर आप ये सब न करती तो हो सकता है हम कभी टेस्ट ही न करवाते और न जाने कितने दिन और हमे इस खुशी का इंतज़ार करना पड़ता। अब सबकुछ भूलकर पहले की तरह हम खुशी खुशी नए मेहमान का स्वागत की तैयारी करो। उसके बाद शांता देवी ने बहु को बेटी की तरह अपना लिया और उसे कोई काम न करने देती बस यही कहती कि अब जबतक मैं बच्चे को गोद मे नही उठाउंगी तबतक तू आराम कर बच्चा होने के बाद में बच्चे को संभालूंगी और फिर तू घर का काम करना।
अमित रत्ता
अम्ब ऊना हिमाचल प्रदेश