समझदार बहुएँ : घर मे सुख शांति – लतिका पल्लवी : Moral Stories in Hindi

अनुराग जी का पैर बाथरूम मे गिरने के कारण टूट गया था। जिसके कारण डॉक्टर ने प्लास्टर चढ़ाकर तीस दिनों तक आराम करने को कहा था। यह सुनकर उनकी बेटी उनसे मिलने आने वाली थी। अनुराग जी के दो बेटा और एक बेटी थे। तीनो की शादी उन्होंने करा दिया था। दूसरे बेटे की शादी … Read more

 मेरी दोनों बहू आपस में बहनों की तरह रहती हैं – डोली पाठक : Moral Stories in Hindi

नम्रता की शादी को पूरे तीन साल हो चुके हैं… अब तक घर परिवार को उसने बड़े हीं सुव्यवस्थित ढंग से संभाला है…  मंझले देवर के विवाह की तैयारियां चल रही है…  लड़की देखने में तो अच्छी-भली है पता नहीं व्यवहार कैसा होगा??  इस बात की सबसे अधिक फिक्र नम्रता को हीं है…  नम्रता ने … Read more

 प्रायश्चित – खुशी : Moral Stories in Hindi

मधु एक सुघड़ लड़की थी।तीन बहनों में सबसे बड़ी । बीए किया कढ़ाई और इंटीरियर डिजाइन का कोर्स किया।पिताजी श्यामलाल कॉलेज में प्राध्यापक थे और मां शर्मिला टेलीफ़ोन विभाग में थी।मधु से छोटी अन्नू और सबसे छोटी काजल थी वो दोनों अभी स्कूलों में पढ़ रही थी।गंजबासौदा  जैसे छोटे से शहर में परिवार  हंसी खुशी … Read more

 रसोई घर – प्रतिमा श्रीवास्तव : Moral Stories in Hindi

दिन भर रसोई घर में ही लगी रहती हो,सारा वक्त बर्बाद कर देती हो अपना। खाना बनाने के लिए कामवाली क्यों नहीं लगाती हो…. पड़ोसन कंचन जी रेनू को सुना रहीं थीं। रेनू को घर के कामों में बहुत रूचि थी ।क्या किसको चाहिए पसंद ना पसंद और घर को सलिके से रखना उसको अच्छा … Read more

 तकदीर फूटना – रंजीता पाण्डेय : Moral Stories in Hindi

(भाग्य खराब होना) सीता सब्जी खरीद रही थी, अचानक से उनके सर पे किसी ने मारा, सीता जोर से बोली कौन है,पागल अरे—–तू—— ,  सिम्मी ,कैसी है तू? सिम्मी ने बोला,तुम खुद  ही देख लो,, एकदम मस्त हूँ?। सीता तुमने क्या हाल बना रखा है अपना? कुछ ठीक नही लग रही तुम ,क्या हुआ?सब ठीक … Read more

 बांटने का सुख – लतिका श्रीवास्तव : Moral Stories in Hindi

लानत है तुम और तुम्हारी रूकी हुई जिंदगी पर ये भी कोई जिंदगी है ।फिर भी तुम इतने प्रसन्न रहते हो।दिन रात एक ही जगह पर खड़े रहना। कहीं आना ना जाना।अपनी फूटी तकदीर पर तुम्हे अफसोस तो होता होगा शिकायत तो होती होगी  मुझे देखो कितनी मेहनत करता हूं कितनी चिंताएं झेलता हूं जिंदगी … Read more

 *मैंने यह तो नहीं चाहा था* – पुष्पा जोशी : Moral Stories in Hindi

शालीन आज बहुत खुश था। उसे लग रहा था उसे खुशियों का खजाना मिल गया है, जिस माँ के मुख से बेटा सुनने के लिए उसके कान तरस रहै थे, उन्हीं माँ की आज चिट्ठी आई थी। वह मन ही मन गुन रहा था कि ‘मेरी माँ की चिट्ठी आई है……. मेरी माँ ने मुझे … Read more

 प्रायश्चित – प्रतिमा श्रीवास्तव : Moral Stories in Hindi

सुरेश बाबू की आंखों में आज पश्चाताप के आंसू बह रहे थे उन्होंने पत्नी यशोदा के जाने के बाद दूसरी शादी वसुधा से कर ली थी। पहले तो वसुधा ने चिकनी – चुपड़ी बातों में उलझाकर उनके बच्चों को अपना बच्चा कह कर बहुत प्रेम और स्नेह जताया था और सुरेश बाबू भी बच्चों को … Read more

 हमसफ़र की अहमियत – डॉ बीना कुण्डलिया : Moral Stories in Hindi

रूपा ओ रूपा कहां हो पति राकेश की आवाज सुनकर रूपा दौड़ी आई हाँ बोलिए क्या हुआ..? अरे होना क्या तुम ध्यान नहीं रख सकती हो देखों मेरी इन दोनों कमीजों के बटन ही गायब हैं तुम यार करती ही क्या रहती हो दिनभर..?  सारे दिन तुम्हारा काम ही क्या है घर में ?  वो … Read more

 तकदीर फूटना – सुदर्शन सचदेवा : Moral Stories in Hindi

रोहित एक होशियार इंजीनियर लड़का था | मल्टीनेशनल कंपनी में अच्छी खासी नौकरी छोड़कर उसने खुद का स्टार्टअप  शुरु किया  | एक ऐप जो गांवो में किसानों को सीधे ग्राहकों से जोड़ता था | दोस्तों ने कहा – पागल हो गया है क्या ? लेकिन रोहित  को अपने ऊपर भरोसा था | शुरुआत के दिनों … Read more

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