आश्विन मास की पूर्णिमा को शरद पूर्णिमा, कोजागरी पूर्णिमा या रास पूर्णिमा भी कहते हैं। पूरे साल में केवल इसी दिन चन्द्रमा सोलह कलाओं से परिपूर्ण होता है। ऐसा माना जाता है कि शरद पूर्णिमा की रात्रि को चन्द्रमा की किरणों से अमृत बरसता है। इस दिन उत्तर भारत में चावल की खीर बनाकर रात में चाँदनी में रखने का विधान है। चंद्रमा की किरणों में रखी चावल की इस खीर का स्वाद कई गुना बढ़ जाता है। इस खीर को सुबह प्रसाद स्वरुप ग्रहण किया जाता है।
आज मैं आपको चावल की खीर बनाने की विधि बताने जा रही हूँ।
🍚 चावल की खीर
📜रेसिपी
📝आवश्यक सामग्री :
📍चावल (बासमती): 75 ग्राम
📍दूध (फुल क्रीम ) : 1 लीटर
📍काजू – 8-10
📍बादाम: 10-12
📍पिस्ता: 10 12
📍किशमिश: 16-20
📍चिरौंजी: 16-18
📍 नारियल का बुरादा:२ बड़े चम्मच
📍हरी इलायची – 4
📍केसर के धागे: ४-६
📍चीनी- 120 ग्राम या स्वादानुसार
📝विधि :
चरण 1) चावलों को पानी से अच्छी तरह से धो लें। एक बर्तन में आधे घंटे के लिए चावलों को पानी में भिगोकर रख दें।
चरण 2 ) केसर को एक चमचा हलके गर्म दूध में भिगो कर एक कटोरी में रख दें।
काजू, बादाम एवं पिस्ता को बारीक़ काट लें।
चरण 3 ) आधे घंटे बाद चावलों को पानी से निकलकर एक छलनी पर रखकर पानी निकलने दें। दूध को एक भारी तले वाले भगोने में डाल कर उबालने रख दें।
चरण 4 ) दूध में उबाल आने के बाद फ्लेम धीमी करके उसमे भीगे निथारे हुए चावल डाल दें। अब दूध को लगातार चलाते हुए खीर को धीमी यानि मद्धिम आंच या फ्लेम पर पकाएं। लगातार चलाते हुए पकाना है नहीं तो चावल लगने यानि खीर जलने का भय है। करीब २५-३० मिनट बाद आप देखेंगे की चावल पक गएं हैं। चमचे की सहायता से देखिये यदि चावल में कसर है यानि कच्चे लग रहे हैं तो और पकाएं।
चरण 5 ) खीर गाढ़ी होने पर एवं चावल पूरी तरह पकने के बाद इसमें नारियल का बुरादा , कटे हुए बादाम-काजू-पिस्ता , चिरौंजी व किशमिश मिलाएं। दूध में घुला केसर डाल दें। चमचे से चलाते हुए पकाएं। २-३ मिनट के बाद चीनी डाल दें। ३-४ मिनट के लिए चीनी घुल जाने तक पकाएं। । खीर को फ्लेम से उतर लें। इलायची पाउडर मिलाएं।
चरण 6) गरमागरम स्वादिष्ट खीर तैयार है।
पिस्ते -बादाम से गार्निश कर गरमागरम परोसें।
चावल की खीर को फ्रिज में रखकर ठंडी करके खाएं, ठंडी खीर अत्यधिक स्वादिष्ट लगती है।
नोट:
◾खीर के लिए फुल क्रीम दूध लें।
◾ सूखे मेवे वैकल्पिक हैं। अपने स्वाद के अनुसार आप इन्हे कम, ज्यादा या बिलकुल नहीं प्रयोग कर सकते हैं। सूखे मेवे खीर का स्वाद बढ़ाते हैं व पौष्टिक बनाते हैं।
◾चावल को भिगोकर ही खीर बनायें।
◾भारी पेंदी के भगोने में खीर बनायें। वर्ना खीर जलने लगती है। लगातार चलाते हुए खीर पकाएं। खीर बनाने में एक चीज बहुत काम आती है और वो है धैर्य पूर्वक उसे चलाना। धीमी आंच में पकी खीर का स्वाद बहुत अच्छा होता है।
◾चावल की खीर गरम और ठंडी दोनों तरह से खाई जाती है।
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-प्रियंका सक्सेना