बहू, बेगम और बन्दर – डॉ० मनीषा भारद्वाज :  Moral Stories in Hindi

“अरे ओ नीरू…जरा देख तो, ये क्या उबल के चाय का पानी गैस पर ही सूख गया? सारी चायपत्ती बर्बाद हो गयी। अब नयी चाय बनाना। और ध्यान रखना, दूध को बिल्कुल उफ़नने मत देना। पिछली बार तो मानो दूध की नदियाँ बह गयीं थीं रसोई घर में।” यह आवाज़ थी सासु माँ शारदा देवी … Read more

उजास – उमा महाजन :  Moral Stories in Hindi

      पापा-ससुर‌ की ,आंगन से आती हुई, झल्लाहट-भरी आवाज सुनकर अचानक कविता की गहरी नींद टूट गई । आज सुबह-सुबह ही वे सासूमां पर चिल्ला रहे थे,         ‘तुम्हारी हिम्मत कैसे हुई मुझसे पूछे बिना राधा-बाई की पगार बढ़ाने की  ? पैसे क्या अब पेड़ पर उगने लगे हैं ? सर्विस से मेरी रिटायरमेंट के बाद क्या … Read more

ससुराल वाले बड़ी बहू को इंसान क्यों नहीं समझते – सीमा सिंघी :  Moral Stories in Hindi

यह क्या मानवी, बच्चों की तरह नाचने लगी हो। तुम्हें शोभा नहीं देता है। तुम तो घर की बड़ी बहू हो। जरा ध्यान रखा करो। तुम कभी चित्रकारी लेकर बैठ जाती हो,कभी कोई गेम खेलना शुरू कर देती हो। तुम यह क्यों भूल जाती हो। तुम इस घर की बड़ी बहू हो। तुम्हारे ऊपर बहुत … Read more

एक सालगिरह ऐसी भी – ज्योति आहूजा :

 Moral Stories in Hindi पंकज और संध्या पुणे की एक सुंदर सोसायटी में रहते थे। पंकज की नौकरी काफी अच्छी थी, पैकेज भी शानदार था, और घर में किसी चीज़ की कोई कमी नहीं थी। बच्चे—बड़ी बेटी सृष्टि (24 वर्ष) और बेटा आदित्य (22 वर्ष)—भी अच्छे कॉलेजों में पढ़ चुके थे। सब कुछ व्यवस्थित और … Read more

एक मुँह, दो बात – लक्ष्मी त्यागी :

 Moral Stories in Hindi विनीता ठहरी ,सीधी -सादी ,वो जिस भी इंसान से मिलती, उस पर विश्वास कर लेती। अविश्वास का प्रश्न भी कहाँ उठता है ?जिनसे वो बात करती है ,वो या तो अपने ही जानने वाले या फिर दोस्त या रिश्तेदार ही तो होते हैं। कुछ दिनों पश्चात, उसके देवर का विवाह हुआ … Read more

काली रात – परमा दत्त झा :

आज रजनी उदास थी कारण बस एक रात ने उसका सबकुछ छीन लिया।पापाजी तो पागल ही हो गये। रजनी यानि तीस वर्षीया एक महिला जिसने पांच साल पहले राकेश से विवाह किया था। पापाजी रोने से सब ठीक होगा -वह चाय देते बोली। ना बहू-मरने बाले कभी लौटते हैं क्या?-वे आंसू पोंछते हुए बोले। फिर … Read more

काली रात – सरिता कुमार :

 Moral Stories in Hindi 6 जून 1991 की वो काली रात तीन साढ़े तीन दशक बाद भी मुझे खूब अच्छे से याद है । एस के मेडिकल हॉस्पिटल का आई सी यू वार्ड रात के साढ़े आठ बजे होंगे पापा आक्सीजन सिलिंडर से सांस ले रहे थें । स्लाइन की बोतल टंगी हुई थी । … Read more

मुफ्त की चाकरी – रश्मि झा मिश्रा :

 Moral Stories in Hindi लाली का ब्याह चंदन से हुआ था… चंदन राधा का इकलौता बेटा था… राधा चंदन के बचपन में ही गुजर गई थी… चंदन अपनी काकियों और आसपास के सब, दूर पास के रिश्तेदारों के घर… उठते बैठते… उनके छोटे बड़े काम, सौदे निपटाते, डोलते, बड़ा हो गया था… कोई खास पढ़ाई … Read more

काली रात – समिता बढ़िया :

 Moral Stories in Hindi राहुल बेटा जल्दी घर आ जाओ , रिशु हमारे बीच नहीं रही….. माँ नंदिनी का फोन था। राहुल सकते में आ गया क्या मतलब नहीं रही ? बेटा वो मर गई , हमें छोड़ कर चली गई , तू जल्दी आ जा। इतना सुनते ही राहुल के हाथ -पैर ठन्डे पड़ … Read more

यही भाग्यहै – अर्चना सिंह :

 Moral Stories in Hindi खूबसूरत रंग बिरंगे असली फूलों से सजा हुआ घर और छत सुंदरता से अलग ही छटा बिखेर रहा था, दूर से देखने वाला ही समझ जाता कि वर्मा परिवार के इकलौते बेटे निकुंज की शादी है । दो बेटियों के बाद बड़े मन्नतों से ये बेटा हुआ था । रिश्तेदारों में … Read more

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