जो रिश्ता विपत्ति बाँटने के लिए बनाया जाता हैं वह ख़ुद संम्पत्ति बाँटने के चक्कर में बंट जाता हैं… – संध्या सिन्हा : Moral Stories in Hindi

आख़िरकार आज आँगन में दीवार उठ ही गयी। “कृष्ण-लीला सदन” नाम की बहुत ही बड़ी और सुंदर कोठी थी यह अपने शहर प्रयागराज की।श्यामजी अग्रवाल ने बड़े जतन से इस कोठी का निर्माण करवाया था और अपने माँ-पिता के नाम पर नाम रखा “कृष्ण-लीला-सदन”। माँ का नाम लीला और पिता का नाम कृष्ण था।कृष्णकांत जी … Read more

पहेली – संध्या त्रिपाठी : Moral Stories in Hindi

      कमली , कल बहू को जरा आलता तो लगा देना…. वो मायके जाएगी और तू घर जाते-जाते रास्ते में पार्लर वाली को बोलते जाना… अच्छा तू रहने दे , मैं ही फोन कर बुला लूंगी …थोड़ा मेहंदी भी लगा देगी मानसी ने सहायिका कमली से कहा…।      और आकर डाइनिंग टेबल के कुर्सी में बैठ गई … Read more

क्या अकेली माँ कन्यादान नहीं कर सकती – रश्मि प्रकाश : Moral Stories in Hindi

सुहानी बेटा देख ये साड़ियां कैसी है? कहती हुई उसकी मॉं ने चार पांच साड़ियां उसके सामने फैला दी। बेटा तुम्हारी शादी है और तुम ही मुंह फुलाकर बैठी हो? घर में सबकुछ मुझे ही देखना है ना बेटा तेरे भाई भी अभी छोटे हैं । तुम मदद नहीं करोगी तो मैं अकेले कैसे संभालूं? … Read more

अब तो तुम शादी कर लो – संगीता त्रिपाठी : Moral Stories in Hindi

पीहू की पढाई ख़त्म होते ही, सारे मित्र, रिश्तेदार पीछे पड़ गये अब क्या करना है? अब तो इसकी शादी कर ही दो। साधना जी बहुत परेशान हो गईं सबकी मुफ्त की सलाह से| आते-जाते लोग बाग रिश्ता भी बता जाते। पीहू से भी वो कहीं भी जाये शादी ब्याह में लोग कहते अब तो … Read more

बाबुल का घर आज भी तुम्हारा है कल भी तुम्हारा रहेगा – रोनिता कुंडु : Moral Stories in Hindi

बेटा… तुम्हें यह रिश्ता पसंद है ना..? किसी भी नतीजे पर आने से पहले तुम्हारी रजामंदी जरूरी हैं.. सोहन जी ने अपनी बेटी कविता से कहा कविता:   पापा..! यूं एक दिन में कैसे जान सकती हूं किसी के बारे में..? मेरा मतलब कल ही वे लोग रिश्ता लेकर आए और आज उसके बारे में … Read more

अधूरी खुशी – शिव कुमारी शुक्ला : Moral Stories in Hindi

अनु का अपराध बस इतना था कि उसने अपने मम्मी-पापा से एक विजातीय लड़के से शादी करने की अनुमति मांगी थी। वह शैलेश से प्यार करने की गल्ती जो कर बैठी थी। किन्तु उसे खुद नहीं पता कब साथ-साथ काम करते दोस्ती प्यार में बदल गई ।दोनों इंजिनीयर थे और एक ही एम एन सी … Read more

बाबुल का दिल – गीता वाधवानी : Moral Stories in Hindi

“रंजना ,ओ रंजना! सुनो जरा जल्दी इधर आओ भई।”नरोत्तम जी खुशी से चहकते हुए बोले।  रंजना -“हां हां बोलिए क्या हुआ? बड़े खुश दिख रहे हैं।”  नरोत्तम-“मुंह मीठा करवाओ। गुप्ता जी ने हमारी अनुराधा के लिए बहुत अच्छा रिश्ता बताया है।”  रंजना -“गुप्ता जी? वही जो रिश्ते करवाते हैं?”  नरोत्तम-“हां हां वही”  रंजना -“रिश्ता बताया … Read more

एहसास – भगवती : Moral Stories in Hindi

अंजलि आज बेहद खुश थी। आज वो काफ़ी महीनों बाद अपने मायके जा रही थी। उसका पति राजेश एक प्राईवेट लिमिटेड में काम करता था इसलिए छुट्टी कम ही मिलती थी। जब भी अंजलि राजेश को कुछ दिनों के लिए अपने घर जाने की बात करती वो कहता कि, “ यहां कौन संभालेगा फिर तुम्हारे … Read more

कुछ गुनाहों का प्रायश्चित नही होता – संगीता अग्रवाल : Moral Stories in Hindi

बाबुल के अंगना मे नाज़ो पली , उस अंगना से इक दिन चली “ दूर कहीं बजते गाने के ये बोल नंदिनी के कानो मे पड़े तो अनायास ही उसकी आँखों से आंसुओं की धार छूट पड़ी । ” क्या सभी लड़कियां अपने बाबुल के अंगना मे पलती बड़ी होती है ? क्या वही एक … Read more

बाबुल – डाॅक्टर संजु झा। : Moral Stories in Hindi

औरत की चाहे कितनी भी उम्र भले ही क्यों न हो जाएँ,परन्तु बाबुल का घर उसके जेहन में धरोहर की भाँति संचित रहता है!मैं उमा काॅलेज के कुछ काम से मायके के शहर में आई हूँ।आते समय पति ने चुहल करते हुए कहा था -” उमा!माता-पिता अब न रहें तो क्या हुआ?एक बार बाबुल की … Read more

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