तुम कितनी बदल गई हो – सीमा वर्मा

” अरे वाह !  माँ आपने तो इसे फ्रेंड बना लिया है “ शाम के पाँच बजे रहे थे … ‘ जया’ बुरी तरह झेंप गई। अभी बहुत हिम्मत कर के वह अपने पाँव में जूते डाल जैसे ही उस विशाल झबरैले माईलो के गले में पड़े पट्टे को थाम कर सैर के लिए निकलने … Read more

असली चाकलेट दिवस – डा. मधु आंधीवाल

————————— अरे शुभी ये कौन खांस रहा है इतनी देर से पार्टी का पूरा मजा खराब कर दिया ये शब्द थे शुभी की मार्डन सहेली रोमा के । शुभी ने कहा घर की एक बुजर्ग नौकरानी हैं ।एक बहुत आलीशान कोठी का यह बेहतरीन ड्राइंगरुम जिसमे धनाढ्य परिवार के बिगड़े हुये नौनिहालों की पार्टी चल … Read more

पहले प्यार का अहसास –  वंदना चौहान

निखिल,कितने सालों बाद तो तेरा ट्रांसफर हुआ है इस शहर में ,छोड़ इस फोन को ,चल कहीं घूमने चलते हैं यार । बस यार, रवि दस मिनट और। ओके डन ,फोन को पॉकेट में रखते हुए अरे ! यार , जब भी यह वैलेंटाइन वीक आता है मेरी हर सॉंस टिया को तलाशने लगती है। … Read more

” चलो इश्क लड़ाए सनम”  – ज्योति आहूजा

आज अनुराग जी  अपनी पत्नी कल्याणी के संग अपना साठवां जन्मदिन मना रहे थे। वैसे परिवार में पत्नी कल्याणी और दो बेटे साहिल और सुमित थे और साथ ही उनकी पत्नियां दिशा और निधि  रहते थे। दोनो बेटे अब अपनी अपनी पत्नियों के साथ नौकरियों के चलते दूर अलग _अलग शहरों में रहने लगे थे।और … Read more

प्रेम का अंत – पूजा मनोज अग्रवाल

प्रेम का अंत अरे,, मम्मा ! “आज फिर काम वाली बाई ने छुट्टी कर ली है ,,,और स्नेहा भाभी की आदत के बारे में तो आपको पता ही है,,। जब से उनकी डिलीवरी हुई है तब से उन्हें कुछ ज़रा सी भी परेशानी हुई नहीं,,, कि फेवीकोल की मजबूत जोड़ की तरह वे बिस्तर से … Read more

मोहब्बत या सौदा – मुकुन्द लाल 

  आधुनिक फैशन में डूबी हुई उस शहर की एक ग्लैमर गर्ल थी। सलवार सूट में वह काफी खूबसूरत दिखती थी। गले में दुपट्टा, आंँखों पर रंगीन चश्मा, हाथ में चमकता पर्श, पैरों में ऊंँची एङी की सैंडिल, होठों और गालों पर कृत्रिम लालिमा को देखकर कोई भी मंत्रमुग्ध सा उसकी ओर आकर्षित हो जाता था। … Read more

एक प्रेम ऐसा भी,,,,,, –  मंजू तिवारी

 यूपी में दादा दादी को कई घरों में अम्मा और बाबा भी कहा जाता है। तो अम्मा बाबा के सच्चे प्रेम को शब्दों में बांधने का असफल प्रयास कर रही हूं। क्योंकि उनका प्रेम शब्दों से परे है।,,,, अम्मा का भरा पूरा परिवार पांच बहुएं पांच लड़के और एक बिटिया दामाद ,,,घर नाती पोतों से … Read more

निश्चल प्रेम – दीपा माथुर

अरे बिटिया चोट तो नही आई निर्मला जी ने पांच वर्षीय नेहा को उठा कर कपड़े झाड़ते हुए कहा। नेहा ने रोते रोते अपने हाथो की कोहनी सामने कर दी। खून बह रहा था। अरे कुछ नही देखो तो तुम्हारे तो जरा सा खून निकला और तुम्हारे गिरते ही कितनी चिटिया मर गई। और कहते … Read more

प्रेमभाव – रश्मि सिंह

तू बन जा गली बनारस की, मैं शाम तलक भटकू तुझमें तेरी बातें चटपट चाट सी हैं, तेरी आँखें गंगा घाट सी हैं, मैं घाट किनारे सो जाऊं…. फिर सुबह सुबह जागूं तुझमें। ये गीत सुनकर बनारस की गलियों में भ्रमण करने का मन कर जाता है। यही गीत कुछ दिन पहले मैं यूँही गुनगुना … Read more

दीदी तेरा देवर दिवाना !! – स्वाती जैंन

शिवानी को कॉलेज से घर लौटते वक्त यह एहसास हुआ कि कोई उसका पीछा कर रहा है, जैसे ही उसने पीछे देखा एक लड़का उसके पीछे से आया और बोला हेलो क्या आप मुझसे दोस्ती करोगी ?? शिवानी को बहुत गुस्सा आया वैसे भी वह ऐसे मनचले लड़कों से बहुत परेशान थी जो मुंह उठाए … Read more

error: Content is protected !!