अनुपमा आंटी – अर्चना सिंह : Moral Stories in Hindi

“आज सत्रह साल बाद फिर से  मेरे पति का वहाँ  तबादला हुआ है । हाँ ! ये वही जगह है जहाँ हमारे और बच्चों की कितनी यादें जुड़ी हैं । अनुपमा  बैठे – बैठे बुदबुदा रही थीं ।  जैसे ही गाड़ी पर बैठी बीजपुर की मीठी  यादें मन में हिलोरे लेने लगीं । हालांकि कम … Read more

दुबली हथेलियां – लतिका श्रीवास्तव : Moral Stories in Hindi

आंटी जी आंटी जी आपका मोबाइल … भीनी आवाज पर मैं तुरंत पलटी तो सामने एक दुबली सी लड़की खड़ी थी जिसकी दुबली हथेलियां मेरा भारी मोबाइल संभाल कर पकड़ी हुईं थीं। ये कहां था तुम्हे कैसे मिला मैने मोबाइल पर झपटते हुए पूछा और अपना बड़ा सा अस्त व्यस्त पर्स खोलकर झांकने लगी। आंटी … Read more

स्नेह का बंधन – खुशी : Moral Stories in Hindi

हम दो बहने थी अदिति और स्वरा जो अपने माता पिता के साथ रहती थीं। मां स्कूल में टीचर और पिताजी प्राइवेट नौकरी करते थे।पिताजी जरा दिमाग के गरम थे इसलिए नौकरी छोड़ पकड़ रहती थीं पर मां इतनी मेहनती थी कि स्कूल , ट्यूशन से घर चलाती यूं अभावों में पलते बढ़ते हम जवानी … Read more

error: Content is protected !!