कठपुतली – स्वाती जैंन : Moral Stories in Hindi

अरे , बड़ी बहु तुम क्या करोगी यह पर्स खरीद कर , तुम कौन सा नौकरी पर जाती हो ?? तुम्हें तो वैसे भी दो वक्त का खाना ही तो बनाना होता हैं , सास सुशीला जी ने उसकी बहू राखी के हाथ से पर्स खींचते हुए बोला और पर्स बेचने वाले भैया से बोली … Read more

डोर टूटी नहीं, लौट आई — एक कठपुतली की वापसी – ज्योति आहूजा : Moral Stories in Hindi

यह कहानी केवल कहानी की नायिका की नहीं है… यह हर उस तीसरी, बल्कि हर दूसरी स्त्री की कहानी है — जो ज़िंदगी भर एक अनदेखे रंगमंच पर, कभी माँ, कभी बहू, कभी पत्नी की भूमिका निभाती है — पर असल में… एक कठपुतली होती है। जिसकी डोर कभी समाज के हाथों, कभी रिश्तों की … Read more

कठपुतली – डा० विजय लक्ष्मी : Moral Stories in Hindi

साफ-सुथरे आंगन में तुलसी चौरे पर दिया जलाकर मीना जैसे रोज ही भगवान को नमस्कार करती थी। वह एक आदर्श बहू थी – सास-ससुर का मान, पति मनोज का सम्मान, और दो प्यारे बच्चों की ममतामयी माँ। मीना पढ़ी-लिखी थी, पर शादी के बाद उसने खुद को परिवार में समर्पित कर दिया था। मनोज जब … Read more

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