ये कहां आ गए हम …? – उमा महाजन : Moral Stories in Hindi

 ‌कल मिसीज गुप्ता को अपने किन्हीं विशेष कार्यों के लिए पोस्ट ऑफिस जाना पड़ा। यह सामान्य बात है कि पोस्ट ऑफिस में विभिन्न प्रकार के , विभिन्न क्षेत्रों के तथा आर्थिक दृष्टि से अलग-अलग स्तरों के अनेक लोगों का आना-जाना लगा ही रहता है।  मिसीज गुप्ता के काम की प्रक्रिया चल रही थी कि तभी … Read more

“दो गुलाब” – ऋतु गुप्ता : Moral Stories in Hindi

मेट्रो में अंदर घुसते ही ऋतुराज ने चारों तरफ बैठने के लिए जैसे ही नजर दौड़ाई तो उसकी नजर कोने की सीट पर बैठी एक लड़की चश्मा लगाए एक पत्रिका पढ़ती नजर आई। पत्रिका के कवर पर  “दो गुलाब” लिखा देख ऋतुराज के चेहरे पर मुस्कान आ गई और वह पढ़ने वाली लड़की का चेहरा … Read more

ननंदरानी इतनी पत्थर दिल कैसे हैं ?? – स्वाती जैंन : Moral Stories in Hindi

भाभी , यह क्या आज भी खिचड़ी , नेहा ने मुंह बनाकर खिचड़ी का बाउल हाथ में लेते हुए कहा !! डिंपल बोली – दीदी , पुरे दिन मांजी की सेवा करनी होती हैं और मांजी को डॉक्टर ने खिचड़ी खाने की ही हिदायत दी हैं इसलिए मैं सभी के लिए ही खिचड़ी बना रही … Read more

पत्थर दिल – प्रतिमा श्रीवास्तव : Moral Stories in Hindi

“कैसी औरत हो तुम पत्थर दिल? औरत हो कर भी तुम औरत के साथ अन्याय कर रही हो? इसीलिए कहा जाता है कि औरतें हीं औरतों की दुश्मन होती हैं वरना किसी की बेटी और अपनी बेटी में इतना फर्क कौन दिखाता है सुधा जी !” मयंक जी के धैर्य की सीमा अब टूट चुकी … Read more

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