मतभेद क्यों : नीलम नारंग : Moral Stories in Hindi

जैसे ही रिया ऑफिस से घर आई देखा सुमन भाभी ( जेठानी)और सासू मां के बीच खूब तकरार चल रही थी। अक्सर ही इस तरह की तकरार का सामना उसे करना पड़ जाता था।  रिया को  बड़ा अजीब लगता कि सुमन भाभी कितना भी काम कर ले लेकिन  सासू मां को उनका कोई काम पसंद … Read more

निर्णय तो लेना ही पड़ेगा ,कब तक आत्मसम्मान खोकर जियोगी – नीलम नारंग : Moral Stories in Hindi

बेटा, सिमरन मैं तुझे अभी भी समझा रही हूं। पहले भी तूने हमारी बात नहीं मानी  कोई बात नही,लेकिन अब मेरी बात मान ले अपना सामान पैक कर और मायके वापस आ जाओ जिस घर में आत्म सम्मान नहीं है, इज्जत नहीं है उस घर में रहने से कोई फायदा नहीं । सिमरन ने माँ … Read more

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लव मैरिज – नीलम नारंग : Moral Stories in Hindi

मां बेटी में अकसर ही बहस चलती रहती थी। कभी-कभी यह बहस लड़ाई का मुद्दा भी बन जाती थी और मां बेटी में अबोला भी हो जाता था। सलमा नहीं चाहती थी  कि वो अपने  ममेरे  भाई से शादी करे। उसे शोएब कभी से ही पसंद नहीं था , दूसरी बात वह कोई काम भी … Read more

मतभेद क्यों – नीलम नारंग : Moral Stories in Hindi

जैसे ही रिया ऑफिस से घर आई देखा सुमन भाभी और सासू मां के बीच खूब तकरार चल रही है। अक्सर ही इस तरह की तकरार का सामना उसे करना पड़ जाता था।  रिया को  बड़ा अजीब लगता कि सुमन भाभी कितना भी काम कर ले लेकिन  सासू मां को उनका कोई काम पसंद ही … Read more

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