” बहुरानी ” – अयोध्याप्रसाद उपाध्याय : Moral Stories in Hindi
प्रमोद का रिटायरमेंट हो गया था। पत्नी रंजना की सेवा अभी तीन साल शेष थी। वह ग्राम सेविका के पद पर गांँव में ही कार्यरत थी। एक ही लड़का विनोद जो पटना सचिवालय के शिक्षा विभाग में पदाधिकारी था। उसकी दादी प्रेमशीला उसे बहुत मानती थी। बार बार यही कहती ” मैं अपने विनोद की … Read more