पापा आप इस दुनिया में नहीं हैं… पर जहां भी हैं मेरे आसूं और मेरे दिल का दर्द शायद अब आप तक पहुंच पाए.. आज पूरे पंद्रह साल बाद अपने शहर अपनी सहेली मधु के बहुत मनुहार करने पर आई हूं… मधु कामिनी सुधा रीता सरला सब मधु के यहां इकट्ठे हुए हैं… अपनी स्टूडेंट बैचलर लाईफ को फिर से एक बार जीने के लिए…
देश विदेश से सहेलियों को एक साथ एक शहर एक छत के नीचे इकट्ठे करने का बीड़ा मधु ने उठाया है… अपने शहर में आकर सभी कितनी खुश हैं..
पर मैं जब भी आशीर्वाद विला को पार कर मधु के घर जाती हूं कुछ पल के लिए वहां कदम ठहर से जाते हैं… नेम प्लेट बदल गया है पापा आपके नाम की जगह किसी और का नाम मैं पढ़ नही पाती आसुओं से आंखे धुंधली हो जाती है.. मधु हाथ पकड़ कर खींच लाती है…
पापा मायका मायके से जुड़ी यादें और मायके में गुजरा हर लम्हा एक लड़की के लिए बहुत अनमोल धरोहर बन आजीवन मायके से रिश्ते को जीवित बनाए रखता है.. भले हीं ससुराल कितना भी संपन्न हो पर मायके की छोटी सी भेंट कितनी खुशी से भर देता है..
पापा आशीर्वाद विला में एक कमरा तो हम दोनो बहनों के हिस्से में आया होता तो…
कितने शौक से आशीर्वाद विला बना था.. मैं बड़ी थी मुझसे छोटी मिनी और सबसे छोटा मेहुल.. पापा बहुत सोच समझकर घर का नाम रखा… बोले इस घर के कण कण में मेरा और तुम्हारी मां का आशीर्वाद बसा हुआ है.. हमारे नही रहने पर भी तुम लोगों को महसूस होगा की तुम्हे हमारा आशीर्वाद मिल रहा है… तरह तरह के फूलों से सजा बगीचा.. मालदह आम लीची नींबू क्या कुछ नही लगाया था हम सभी ने मिलकर.. झूला पर बैठने के लिए हम तीनो कितना लड़ते थे, बड़ी होने के कारण मुझे समझौता करना पड़ता था… कब वो खूबसूरत वक्तगुजर गया… हम तीनों की शादी हो गई… हमारे बच्चे हो गए… फिर भी जब सभी मिलते तो आशीर्वाद विला चहक उठता…
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वक्त गुजरता रहा… मां पापा नही रहे.. दिल को तसल्ली दी भाई भौजाई भतीजा भतीजी है ना… पर मेहुल ने बिना हम बहनों से सलाह किए आशीर्वाद विला बेचकर अमेरिका चला गया… पापा भले हीं मैं अपनी गृहस्थी में सुखी संपन्न हूं पर #आशीर्वाद #विला में छुपा आप दोनो का आशीर्वाद भी हमसे छीन गया… हमारा मायका हीं नहीं रहा.. पापा बेटियों को भले हीं जायदाद में हिस्सा मत दो पर घर का एक कोना, जहां उसका बचपन से जवानी तक का वक्त बिता है उसे #आशीर्वाद #में जरूर दो…
#स्वलिखित सर्वाधिकार सुरक्षित #
Veena singh