समस्या – मधु वशिष्ठ : Moral Stories in Hindi

 मिनी और राघव का विवाह हुए 7 साल बीत गए थे लेकिन उनके घर अभी तक कोई शिशु का आगमन नहीं हुआ था। हालांकि उन दोनों को इस बात से कोई ज्यादा फर्क नहीं पड़ता था लेकिन पड़ोसी रिश्तेदार आने जाने वाले और अब तो कामवाली भी——-। जी हां यहां तक कि घर की कामवाली … Read more

नाराज़ – मधु वशिष्ठ : Moral Stories in Hindi

खुशी-खुशी माताजी ने घर में प्रवेश करा। उनकी आवाज सुनकर शोभा अपनी कमरे से बाहर निकली और मुस्कुराते हुए उनका स्वागत करके चाय बनाने रसोई में चली गई। उनकी बेटी राधिका कॉलेज गई हुई थी। बाबूजी भी खाना खाकर दुकान पर चले गए थे। विनय दोपहर को दुकान से खाना खाने घर आया था। नियम … Read more

जैनरेशन गैप – मधु वशिष्ठ   : Moral Stories in Hindi

स्कूल के स्टाफ रूम में लंच टाइम में सारी टीचर्स चाय की चुस्कियां लेती हुईं अक्सर अपनी बहुओं या सासों की बुराई करती हुई देखी जा सकती थीं। भावना मैडम को ऐसा करना बिलकुल अच्छा नहीं लगता था, वह यही सोचती थी कि बहु या सास का अच्छा या बुरा होना केवल और केवल हमारे … Read more

विश्वासघात – मधु वशिष्ठ  : Moral Stories in Hindi

राघव की दो बहने और एक भाई और भी था लेकिन  राघव के माता पिता ने सब बच्चों को बराबर मात्रा में अधिक गहने गढ़वाए थे। जब राघव की सिलेक्शन हैदराबाद के लिए हुई तो नीता ने अपने सारे गहने सासु मां के पास रखवा दिए थे ।अपना बहुत सारा सामान भी जो कि वह … Read more

शिकायत नहीं – मधु वशिष्ठ  : Moral Stories in Hindi

आज शाम को विनय को ऑफिस के काम से मुंबई जाना था। शताब्दी की बुकिंग थी और ट्रेन रात को 9:30 बजे। स्टेशन तक पहुंचने के लिए लगभग 8:00 बजे तक तो निकलना ही था ना। 6:00 बज गए थे पर विनय का कोई अता पता न था। जब भी विनय को कहीं बाहर जाना … Read more

अपना घर… – मधु वशिष्ठ   : Moral Stories in Hindi

दरवाजा खुलते ही मीना ने देखा कि सामने माताजी भी अपने फ्लैट में वापस आ गई थीं। हैरानी और खुशी से माताजी को मिलने के लिए गई। माताजी उसके सामने वाले फ्लैट में ही अकेली रहती थीं। 10 साल पहले जब सरकारी विभाग में कार्यरत वर्मा जी संसार छोड़ कर गए थे| माता जी के … Read more

घर कब आओगी – मधु वशिष्ठ   : Moral Stories in Hindi

ऐसा बिल्कुल नहीं था कि भावना जी अपनी बहू नीता को प्यार नहीं करती थीं या उसे कमतर समझती थीं, बस यह उनकी बहुत पुरानी आदत थी कि वह अनुशासनहीनता या कोई भी गलती सहन नहीं कर पाती थीं और उसे ठीक करने की पूरी कोशिश करती थीं। यूं भी वह गर्ल्स स्कूल की रिटायर्ड … Read more

अपना घर अपना घर ही होता है। – मधु वशिष्ठ   : Moral Stories in Hindi

अपना घर अपना घर ही होता है। नीता मन ही मन यूं ही बड़बड़ा रही थी, लड़कियों का तो कोई घर ही नहीं होता मां कहती थी की ससुराल ही तुम्हारा घर है और यहां हाल देखो?  लगभग एक सप्ताह होने को आया, सासु मां की तबीयत ज्यादा खराब होने के कारण वह तो बिस्तर … Read more

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