दूसरी विदाई (अर्चना सिंह) : Moral Stories in Hindi
निरुपमा जैसे ही ससुराल की दहलीज पर पहुँची वहाँ के रंग रौनक और शान-ओ- शौकत देखकर दंग थी । उसकी उम्र यही कोई बाइस – तेईस के लगभग होगी । पहली शादी तो बीस वर्ष होते ही हो गयी थी , वहाँ भी धनी सम्पन्न परिवार ही था लेकिन पति के साथ निरुपमा की निभ … Read more