मां तुझे सलाम – कविता भड़ाना : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : एक पार्टी के बाद नशे में धुत अभय को घर छोड़ने आया उसका दोस्त सुमेश, अभय की बेहद खूबसूरत बीवी को देखकर, मौके का फायदा उठाने के उद्देश्य से स्वाति का हाथ पकड़कर बोला…”स्वाति तुम इतनी सुंदर हो और ये तुम्हारा पति, तुम्हारी बिलकुल कदर नही करता”….. क्यों नहीं तुम … Read more

खानदान – कामिनी मिश्रा कनक : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : कमला जी रात का खाना खाकर, दवाई खाने के लिए सोफे पर बैठी ही थी ….की तभी अचानक दरवाजे की घंटी बजती है……..  इतनी रात को कौन आया होगा अब तो बहू भी सो गई है , सुदर्शन भी ऑफिस के काम से बाहर गया हुआ है…… वो भी 2 … Read more

बहु भी बेटी- गौरी भारद्वाज : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : श्यामू काका !बहू को नीचे बुलाओ। मेम साहब बहू घर पर नहीं है उनको बाहर गए तीन घंटे हो गए। श्यामू काका की बात सुनकर सुषमा जी गुस्से में बोली-क्या !!!…बहू घर में नहीं है? नहीं मैम साहब…… श्यामू धीरे से बोला। “मां देख लो आप की नई बहू आपका … Read more

बिन तेरे ज़िंदगी (भाग 3) – बेला पुनीवाला

रीमा : उसमें धन्यवाद की क्या बात है आंटी जी ? जैसी आपके लिए नैना वैसी ही मैं। तो फ़िर मैं अपनी बहन जैसी सहेली को कैसे दुखी होते हुए देखूँ ? अब आप उसकी बिलकुल फ़िक्र मत कीजिएगा। देखना आप, कुछ ही दिनों में नैना पहले की तरह हंसती-मुस्कुराती आपको नज़र आएगी। अपनी ज़िंदगी … Read more

बिन तेरे ज़िंदगी (भाग 2) – बेला पुनीवाला

 कहते हुए तूफ़ान की तरह नैना नीचे रसोई में चली गई, रीमा ने उसे रोकने की कोशिश की मगर वह शायद उसके पूछे जानेवाले सवालों से भी भाग रही थी। रीमा ये देख़ एक पल के लिए सोच में पड़ गई, नैना ऐसा क्यों कर रही है, पहले तो वह काम न करने का बहाना … Read more

बिन तेरे ज़िंदगी (भाग 1) – बेला पुनीवाला

नैना एकदम चुपचाप सी अपने कमरें में बैठी है, वह ना तो घर में किसी से कुछ बात करती है, नाहीं किसी से  कुछ सलाह मशवरा करती है। बस खिड़की की बाहर नज़र गड़ाए ऊपर आसमान की ओर देखे जा रही है। खुला आसमान, आसमान के पीछे बादलो में सूरज, सूरज की तेज़ किरणें सीधे … Read more

बहू तुम मेरी बेटी की तरह हो – माधुरी : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : आज ऑफिस से आकर नितिन ने पत्नी नीरा से कहा कि मुझे एक सप्ताह के लिए मुंबई जाना है टूर पर , अतः मेरे कपड़े सूटकेस में पैक करदेना। नीरा के बच्चे भी ८दिन के लिए स्कूल से समर कैम्प में गए हुए थे। नीरा ने जव तपन के भी … Read more

वक्त हर घाव को भर देता है- मंजू ओमर : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : वक्त हर घाव को भर देता है सुषमा आज मोहल्ले में एक पूजा में शामिल होने के लिए गई थी । जिनके घर पूजा थी वो आंटी ने बहुत मनुहार किया था सुषमा से निकलो बेटा थोड़ा घर से आया जाया करो सबसे मिला जुला करो मन हल्का हो जाएगा। … Read more

 स्वाद अपनेपन का….! (भाग 2)- लतिका श्रीवास्तव

…….एक बार सोमेश ने अपने दोस्तों को घर पर डिनर के लिए बुलाया था कालिंदी से पूछ कर ही तय किया गया था….उसी दिन सुबह कालिंदी की मां का फोन आ गया था बेटा तेरी मौसी सीढ़ियों से गिर पड़ी है तू आजा मेरे साथ चलना तेरे पापा नहीं जाएंगे….कालिंदी ने तुरंत सोमेश को फोन … Read more

 स्वाद अपनेपन का….! (भाग 1)- लतिका श्रीवास्तव

सोमेश अभी सोकर भी नहीं उठा था की उसने कालिंदी को कहीं जाने के लिए तैयार पाया….! अरे श्रीमतीजी आज सुबह सुबह कहां की तैयारी हो गई….आश्चर्य और उत्सुकता से उसने पूछा ही था कि कालिंदी ने घड़ी दिखा कर कहा….”सुबह सुबह!!!ये सुबह है.!9 बज गए हैं..! अरे भाई आज सन्डे तो है….सोमेश ने उसे … Read more

error: Content is protected !!