भरवाँ बैंगन – नीरजा कृष्णा
“अरे, सुबह से क्या खटर पटर कर रही हो?” अलसाए हुए माधव जी ने अपनी पत्नी मीरा को टोक ही दिया। “वो… वो…कुछ खास नहीं। आज मोतियाबिंद का ऑपरेशन होना है। फिर आठ दस कुछ देख सुन नहीं पाऊँगी ना।” वो चिढ़ गए,”इतनी सुबह फ्रिज में क्या हीरे मोती देख सुन रही हो?” … Read more