“गिरगिट” (बदलते चेहरे) – कविता भड़ाना
“बहादुर जरा बाहर बस के ड्राइवर और कंडक्टर भैया को चाय पिला दो” बेटी का 12वा जन्मदिन मनाकर लौटी रीमा ने अपने घर के बावर्ची को आवाज देकर कहा और बस में साथ गए बच्चो को उनके रिटर्न गिफ्ट देकर विदा करने लगी….दो बच्चो को उनके मम्मी पापा अभी लेने नहीं आए तो उन्हें फोन … Read more