घमंड टूट गया – गीता वाधवानी

शालीमार बाग़ में आशा के घर के सामने वाला घर, सोनिया ने खरीदा था। यह एक दिल्ली का पॉश इलाका माना जाता है। सोनिया ने आशा के घर की घंटी बजाई। आशा ने जब दरवाजा खोला तो देखा कि सामने एक सुंदर किंतु साधारण, बालों में तेल लगा हुआ और एक चोटी बनाई हुई, महिला … Read more

एक गलत फैसला – गीता वाधवानी

आज मैं आपको एक कहानी सुनाती हूं। शायद यह कहानी सुनकर कोई और लड़की मेरी गलती से सबक ले सकें। जी क्या कहा आपने, मैं कौन हूं? आप मुझे नहीं जानते।  हां सही कहा आपने, कैसे जानेंगे मुझे। मैं कोई मशहूर हस्ती या सेलिब्रिटी तो हूं नहीं। मैं हूं एक आम लड़की, नाम टीशा।  एक … Read more

अधिकारों को आग लगा दी है – गीता वाधवानी

नई नवेली बहू सुरभि घर में आ चुकी थी। आशा जी का बेटा सौरभ उसे ब्याह कर लाया था। सुरभि और सौरभ एक ही ऑफिस में साथ काम करते थे।       आशा जी एक शांत, गहरे व्यक्तित्व की स्वामिनी थी। माथे पर बिंदी, बालों का जूड़ा, दोनों हाथों में सिर्फ एक एक सोने की चूड़ी, गले … Read more

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