प्रेम रंग – भगवती सक्सेना गौड़

Post Views: 19 आज रविंदर बिजी अपने पोते अमरसिंह से बोल रही, “सुन पुत्तर, मुझे न अमृतसर ले चल, तुम सब मेरी बीमारी में बहुत परेशान हो गए हो, इत्ती उम्र नब्बे भी निकली जा रही, मुझे भगवान बुलाता ही नही, कुछ तो कारण है।” “क्या बिजी, इतने ऐशो आराम से परिवार के मध्य सेवा … Continue reading प्रेम रंग – भगवती सक्सेना गौड़