ज्योति की आशा – डॉ. उषा यादव : Moral stories in hindi

Post Views: 9 सुबह सुबह ज्योति सोकर उठती है…तो सुनती है मां कुछ कह रही है… इस तरह से कब तक सोती रहेगी ससुराल में तेरी कैसे निभेगी। ज्योति उठते-उठते कहती है “ आपको तो हमेशा मेरी शादी की ही पड़ी रहती है। अभी मुझे पढ़ना है, कुछ बनना है तब जाकर मैं शादी करूंगी। … Continue reading ज्योति की आशा – डॉ. उषा यादव : Moral stories in hindi