देवकन्या (भाग-22) – रीमा महेन्द्र ठाकुर : Moral stories in hindi

Post View 32 सोलहा कलाओं की कन्या  का रहस्य “”” कंधे पर स्वेतम्बर की झोली”उसमे हृदय के समीप दक्षांक  को टुकुर टुकुर देखती अमरा   को लिऐ”आंगन मे प्रवेश  करते है! लकडियो का बोझ  धरा पर पटकते हुऐ”झोली मे झांक कर पुत्री की ओर देखते है”””दृष्टि डालते ही सारी थकान मिट जाती है”” गमछे से … Continue reading देवकन्या (भाग-22) – रीमा महेन्द्र ठाकुर : Moral stories in hindi