गुस्सा पी जाना-डाॅक्टर संजु झा : Moral Stories in Hindi

रंजना जी ने अपनी दोनों संतानों को उच्च शिक्षा दिलवाई। उन्होंने बेटी और बेटा दोनों की समान परवरिश की। पढ़ाई के बाद जब उनकी बेटी नमिता ने  शादी मेट्रोमोनियल से एक लड़के को चुना ,तो उनलोगों ने लड़के तथा उसके परिवार से मिलने के बाद शादी करने की स्वीकृति दे दी।रंजना दम्पत्ति तथा उनकी बेटी … Read more

गुस्सा पी जाना – डाॅक्टर संजु झा : Moral Stories in Hindi

रंजना जी ने अपनी दोनों संतानों को उच्च शिक्षा दिलवाई। उन्होंने बेटी और बेटा दोनों की समान परवरिश की। पढ़ाई के बाद जब उनकी बेटी नमिता ने  शादी मेट्रोमोनियल से एक लड़के को चुना ,तो उनलोगों ने लड़के तथा उसके परिवार से मिलने के बाद शादी करने की स्वीकृति दे दी। रंजना दम्पत्ति तथा उनकी … Read more

बुढ़ापा -डाॅक्टर संजु झा : Moral Stories in Hindi

मनुष्य जिन्दगी के तीन पहर तो आसानी से काट लेता है,परन्तु चौथा पहर काटना उसके लिए कठिन हो जाता है।बुढ़ापे में स्वास्थ्य भी गिरने लगता है,उसपर से अगर हमसफ़र का साथ छूट जाएँ तो जिन्दगी ‘कोढ़ में खाज’ के समान लगने लगती है।बुढ़ापे में ऊषा जी को अपना वतन बहुत याद आता है।यहाँ अमेरिका में … Read more

हमसफ़र- डाॅक्टर संजु झा : Moral Stories in Hindi

नीरज  पत्नी के इंतजार में बाल्कनी में बैठकर उड़ते हुए बादल और ढ़लते हुए सूरज की लुका-छिपी देखते हुए सोच रहा है कि उसकी जिन्दगी में भी काफी उतार-चढ़ाव आएँ,परन्तु रिचा जैसी हमसफ़र पाकर उसकी जिन्दगी खुशगवार हो उठी।जीवन की आपाधापी में से समय निकालकर एक महीने पर अपनी हमसफ़र रिचा से मिलने आ ही … Read more

दिल का रिश्ता -डाॅक्टर संजु झा Moral stories in hindi

 कभी-कभी किसी के साथ दिल का रिश्ता इस तरह सम्मोहन में जुड़ जाता है,जिसे चाहकर भी हम भूल नहीं पाते हैं।मैं अमन ऐसा नहीं कह सकता हूँ कि मुझे आरंभ से ही नीलिमा से प्यार था,परन्तु उसमें कोई  चुम्बकीय आकर्षण तो जरुर था,जिसे मैं चाहकर भी भूल नहीं पाता था।उसकी मृगनयनी सी आँखें बार-बार मेरे … Read more

दिन में तारे नजर आना – डाॅक्टर संजु झा : Moral Stories in Hindi

पति की हालत देखकर कुसुम जी को दिन में ही तारे नजर आने लगें।उनकी बेटी आन्या और अमय दोनों विदेश में रहते हैं।आएँ दिन उनके पति  नीरज जी की तबीयत खराब रहती है।इसे कुसंयोग ही कह सकते हैं कि नीरज जी ने जिन्दगी में कभी शराब नहीं पी,परन्तु लीवर की गंभीर  बीमारी से ग्रसित हो … Read more

अटूट बंधन – डाॅ संजु झा : Moral stories in hindi

बदलते परिवेश में जहाँ सम्बंधों के टूटकर बिखरने की घटनाएँ आए दिन सुनाई पड़ती हैं,तलाक शब्द अब हमारे समाज के लिए अपरिचित नहीं रह गया हैं,वहीं आज भी हमारे समाज में पुराने संस्कार और मूल्य मजबूती से अंगद की भाँति पाँव जमाए हुए नजर आते हैं।वास्तव में पति-पत्नी का रिश्ता अटूट बंधनों में बँधा हुआ … Read more

दाल में काला होना – डाॅक्टर संजु झा : Moral Stories in Hindi

इंसान की फितरत होती है कि व्यक्ति गरीब होता है,तो सब उसकी गरीबी का मजाक उड़ाते हैं और अगर गरीब व्यक्ति के पास पैसे आ जाएँ, उसे संशय की दृष्टि से भी देखते हैं।यही हाल नमन के परिवार का है।कल तक तो नमन के घर में दो वक्त का चूल्हा मुश्किल से जलता था, वहीं … Read more

तकरार – डाॅ संजु झा : Moral stories in hindi

कभी-कभी छोटी-सी तकरार भी बहुत  बड़ी हो जाती है।इस तकरार में व्यक्ति का अहं बीच में आ जाता है,जिसका परिणाम परिवार और समाज को भी भुगतना पड़ता है।तकरार से सम्बन्धित कहानी प्रस्तुत है। काफी दिनों के बाद मुझे ननिहाल जाने का मौका मिला।ननिहाल से बच्चों का विशेष लगाव होता है।ननिहाल की एक बात मुझे बहुत … Read more

खोज खबर लेना – डाॅ संजु झा : Moral stories in hindi

बेटी  मीता की करतूत के कारण रमाकांत जी सिर झुकाए  भींगी आँखों से शून्य में निहार रहें हैं।जब दर्द अत्यधिक गहरा होता है,तो आँसू बिना रोएँ,बिना आवाज के ही बहने लगते हैं।आँसू को हाथों से पोंछते हुए रमाकांत जी सोचते हैं कि समाज में किस तरह अपना मुँह दिखाऊँगा?सारी इज्जत, प्रतिष्ठा बेटी के कारण धूल … Read more

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