फ़ैसला – रश्मि प्रकाश : Moral stories in hindi
”सुनती हो… अरे कहाँ हो भाई जल्दी बाहर आओ।” हाथों में सामान का थैला थामे जैसे ही घर के दरवाज़े के भीतर पाँव रखे राजेश्वर जी पत्नी सुनंदा जी को आवाज़ देने लगे रसोई से गीले हाथों को आँचल में पोंछते हुए सुनंदा जी निकल कर आई और बोली,“ क्यों गला फाड़ रहे हैं थैले … Read more