घड़ियाली आंसू बहाना – मंजू ओमर : Moral Stories in Hindi

New Project 44

क्या हुआ शिवम् का ,आज आई आई टी का रिजल्ट आया है न अंकिता की जेठानी माधवी का फोन आया ।वो शिवम् का‌ सलेक्शन नहीं हुआ भाभी अंकिता ने बताया । अच्छा तुम परेशान न हों मैं घर आ रही हूं तुम्हारे जेठानी माधवी बोली अंकिता और माधवी देवरानी जेठानी थी । अंकिता के जेठ … Read more

क्यों न करूं अपनी किस्मत पर नाज़ – मंजू ओमर : Moral Stories in Hindi

New Project 2024 04 29T104516.742

कावेरी ने तीसरी बार बेटी को जन्म दिया है। अस्पताल में नर्स ने लेबर रूम से बाहर आकर बताया घर वालों को कि बेटी हुई है लेकिन, लेकिन क्या सिस्टर , बेटी विकलांग है एक हाथ कोहनी के नीचे से नहीं है।उसका एक हाथ आधा है ।सबके चेहरे पर हवाइयां उड़ने लगीं। सभी एक दूसरे … Read more

कहां हूं मैं अभागन – मंजू ओमर : Moral Stories in Hindi

New Project 66

बड़े घर के बिगड़ैल बेटे से ब्याह दी गई ज्योति।मन में नई नवेली दुल्हन के सपने लिए ससुराल आ गई ज्योति। मायके में सौतेली मां के जुल्म सहते सहते तक गई थी ज्योति चार साल की थी जब मां छोटे भाई के जन्म के समय चल बसी ।दो दिन का छोटा सा छोटू उसकी देखभाल … Read more

बहन की बेटी – मंजू ओमर   : Moral Stories in Hindi

New Project 40

आभा ने आज विभा से कहा आजकल निभा हमसे थोड़ी खींची खिंची रहती है ढंग से बात भी नहीं करती पता नहीं क्या बात है । जबसे यहां आई हूं देख रही हूं दूर दूर है मुझसे। जरा तुम बात करना निभा से क्या बात है क्या बात हो गई है। अच्छा आभा दी मुझे … Read more

रिश्तों के बीच विश्वास की एक पतली रेखा होती है – मंजू ओमर   : Moral Stories in Hindi

New Project 43

बेटा मुझे तो विश्वास ही नहीं हो रहा है कि तुम ऐसा कुछ करोगे।इस तरह के संस्कार तो मैंने तूझे नहीं दिए थे बेटा । तुम्हारी हरकतों के बारे में सुनकर तो मैं बहुत शर्मिन्दा हो रही हूं। लता ने अपने बेटे अनुज को फोन करके कहा। क्या सुन लिया मां तुमने मेरे बारे में … Read more

बेटी अब ससुराल ही तेरा घर है – मंजू ओमर : Moral Stories in Hindi

moral story in hindi

दो साल की छोटी सी मोनू का उंगली पकड़े सोनल चली जा रही थी विचारों में गुमशुम । क्या है एक बेटी का जीवन क्यों शादी होते ही वो घर पराया हो जाता है जहां वो पैदा हुईं,खेली खाई बचपन बीता , मां बाप के साए में महफूज रही कोई तकलीफ़ नहीं । क्यों इतनी … Read more

क्या रिश्ते ऐसे टूट जाते हैं – मंजू ओमर : Moral Stories in Hindi

New Project 89

हेलो,रिचा, रिचा बेटा सुन रही हो, हां आंटी बोलिए मैं सुन रही हूं । बेटा तुम्हारी मम्मी ग्वालियर में आई ,सी यू में भर्ती हैं ।हालत नाज़ुक है ,ब्रेन हैमरेज हो गया है । बेहोश हो गई थी दो दिन हो गए आज बीच बीच में हल्का सा होश आता है तो वो बेहोशी की … Read more

तुम्हारी हिम्मत कैसे हुई ऐसी बात करने की – मंजू ओमर : Moral Stories in Hindi

New Project 2024 05 05T225422.575

मम्मी तुमने हमारे साथ बहुत बुरा किया है देखना तुम तुम्हें इसकी ऐसी सजा मिलेगी कि तुम कभी भूल नहीं पाओगी। अखिल के ऐसे शब्द सुनकर तनुजा हतप्रभ रह गई, वो बेटे अखिल की तरफ देखते हुए बोली ये तुम क्या कह रहे हो बेटा, ठीक ही तो कह रहा हूँ, तुमने बहुत बुरा किया … Read more

जिठानी का गुरूर – मंजू ओमर : Moral Stories in Hindi

New Project 43

लो ऐ साड़ी तुम रख लो शालू, तुम्हारे ऊपर बहुत अच्छी लगेगी पूरे सात हजार की है ।तुम तो इतनी महंगी साड़ी खरीद नहीं पाओगी कभी शालू की जेठानी ने शालू से कहा । शालू बार बार मना कर रही थी नहीं भाभी मैं नहीं लूंगी ये साडी ।अरे सिर्फ दो ही बार पहनी है … Read more

रिश्तों की डोर यूं न तोड़ो – मंजू ओमर: Moral Stories in Hindi

New Project 98

संगीता कई दिनों से यूं उदास बैठी थी ,कारण संगीता के बड़े भाई की तबियत कुछ ज्यादा ही खराब थी ।आई,सी यू में भर्ती हैं की दिनों से ।वो भाई से मिलने जाना तो चाहती है लेकिन संगीता के पति पंकज बिल्कुल भी तैयार नहीं है जाने को।और अकेले भी नहीं रहेंगे क्योंकि उनको स्वास्थ्य … Read more

error: Content is Copyright protected !!