राधिका, ये घर मेरा भी है – मंजू ओमर: Moral stories in hindi
राधिका आज बेमन से बिस्तर पर पड़ी थी उठने की इच्छा ही नहीं हो रही थी । चाय की तलब तो लग रही थी लेकिन बनाने की इच्छा नहीं हो रही थी। तभी दरवाजे पर दस्तक हुई। राधिका घर में अकेले थी इसलिए उसे ही उठना पड़ा दरवाजा खोलने के लिए ।जब दरवाजा खोला तो … Read more