अपना सा मुंह लेकर रह जाना – डा. शुभ्रा वार्ष्णेय : Moral Stories in Hindi
शहर की तेज़ रफ़्तार ज़िंदगी में साक्षी, एक सफल कॉर्पोरेट प्रोफेशनल, हमेशा अपनी उपलब्धियों का ढिंढोरा पीटती रहती थी। उसे लगता था कि दूसरों की सफलता केवल दिखावा है, असली प्रतिभा तो बस उसी में है। एक दिन उसे अपनी पुरानी सहपाठी अदिति का सोशल मीडिया प्रोफाइल दिखा। अदिति ने अपने छोटे से बुटीक की … Read more