अब और नहीं -सुधा शर्मा

Post View 268   रानी स्तब्ध रह गई थी ,  सामने फिर वही दृश्य उभरने लगे थे बरसों पहले के, शरीर जैसे निष्प्राण हो गया था ।             उसकी देवरानी शीला की हृदय विदारक चीत्कारे दिल दहला रही थीं ।रानी जैसे जड बनी , पत्थर के बुत सी बैठी थी ।          गौना हो कर चार दिन पहले … Continue reading अब और नहीं -सुधा शर्मा