अब आप ही मेरे पिता हैं – नीरजा कृष्णा #लघुकथा
Post View 196 उसने धीरे से दरवाजा खोल कर देखा। रामेश्वर बाबू…. उसके ताऊ जी….गहरी नींद में थे। एकदम क्लांत चेहरा… घोर थकावट और दुख की गहरी छाया उनके चेहरे पर बिखरी हुई थी। एक बार तो उसे लगा…ना उठाया जाए…सो लेने दिया जाए पर घड़ी पर निगाहें गई तो….अरे शाम के चार बज गए … Continue reading अब आप ही मेरे पिता हैं – नीरजा कृष्णा #लघुकथा
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