Post View 2,107 होस्टल में आग की तरह बात फैल गई। जया न चीखी, न चिल्लाई। बस सीधी लपट बनी निश्चेष्ट खड़ी हो गई थी। कमरे की पार्टनर सुप्रिया चीख पड़ी थी। रात के गहरे सन्नाटे में उसकी चीख दूर-दूर तक पहॅुंच गई थी। किसी छात्रा ने जया को यूं जलते देख पूरी बाल्टी-भर पानी … Continue reading आग – डॉ पुष्पा सक्सेना
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