ये रिश्ते दिलों के रिश्ते! – नीलम सौरभ

Post View 1,529 “ये देबाशीष दत्ता भी न…पता नहीं क्या चाहता है? न कुछ बोलता है न कुछ पूछता है…और तो और किसी बात का जवाब भी नहीं देता नालायक…मिट्टी के माधो की तरह बैठा बस घूरता रहता है नासपीटा। उसकी क्लास को तो अब पढ़ाना भी मुश्किल होता जा रहा है…पिछले किसी जन्म की … Continue reading ये रिश्ते दिलों के रिश्ते! – नीलम सौरभ