Post View 475 बारिश थम चुकी थी..रामू बहुत खुश था..”अरे मुन्नी बिटिया!बीज वाला थैला लेकर जल्दी आओ?”रामू ने अपनी छोटी बेटी मुन्नी को आवाज दी।”अभी लाती हूं बाबू! मुन्नी बीज वाला थैला रामू के हाथ में थमाते हुए बोली।”बाबू मुझे भी ले चलो अपने साथ?”मुन्नी उछलते हुए बोली।”अच्छा चल बिटिया! रामू मुन्नी को साथ लेकर … Continue reading उम्मीद – माता प्रसाद दुबे
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