रिश्ते प्यार से चलते हैं ना की मजबूरी से -मनीषा सिंह : Moral Stories in Hindi
“बस बहुत हो गया संपदा••! तुझे अब वहां जाने की जरूरत नहीं! संपदा की मां सुमित्रा जी गुस्से से बोलीं । ‘मां!आप सही कहती थीं कि मुझे सारांश से शादी नहीं करनी चाहिए! अब मैं पछता रही हूं! कहते हुए संपदा रोने लगी। बस बेटा! अभी कुछ नहीं बिगड़ा है सब कुछ छोड़-छाड़ के यहां … Read more