उपहार – ऋतु अग्रवाल
सुरेशजी के निधन के बाद केतकीजी काफी अकेली पड़ गई थीं। बिटिया महिमा शादी के बाद पुणे सेटल हो गई थी और बेटा माहिम पिता के कारोबार में व्यस्त था। केतकीजी ने कुछ स्वयंसेवी संगठनों की सदस्यता ग्रहण कर ली ताकि मन लगा रहे। वहीं उनकी मुलाकात तपी से हुई जो निरक्षर बच्चों के लिए … Read more