पछतावा – मोनिका रघुवंशी : Moral Stories in Hindi
Post View 56 सुवर्णा का मन सदियों से ठहरा हुआ प्रतीत हो रहा था, मानो उसकी भावनाएँ कहीं जड़ हो गई हों। जब वह सामने खड़ा था, उसकी आँखों में पछतावे और शर्म का भाव था, लेकिन वह वह भावनाओं को फिर से सहलाना नहीं चाहती थी। सुवर्णा और उसके पति के बीच का रिश्ता … Continue reading पछतावा – मोनिका रघुवंशी : Moral Stories in Hindi
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