“मोगरे के फूल” – ऋतु अग्रवाल

Post View 6,859        नीलिमा आज बहुत खुश थी। रसोई में तरह-तरह के व्यंजन बनाए जा रहे थे। अम्मा बाबूजी की तो खुशी का ठिकाना ही नहीं था। अम्मा अपने खानदानी गहने निकाल निकाल कर नीलिमा को पहना कर देख रही थी।आखिर एक जड़ाऊ रानी हार, बाजूबंद और छोटी सी हीरे की नथ नीलिमा को … Continue reading “मोगरे के फूल” – ऋतु अग्रवाल