मै अपने पति के घर में रहूंगी – अर्चना खंडेलवाल: Moral stories in hindi

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ट्रेन एक स्टेशन पर रूकी, लगभग सारे यात्री उतर चुके थे, कुछ यात्री थे जो मोबाइल में व्यस्त थे, कुछ गाने सुन रहे थे तो कुछ वीडियो देखकर समय बिता रहे थे, सबको अपनी मंजिल के आने का इन्तजार था पर सरिता जी को कोई जल्दी नहीं थी, वो चाह रही थी कि ट्रेन हर … Read more

जीते जी बंटवारा नहीं करूँगा – मीनाक्षी सिंह: Moral stories in hindi

भईया चलिये बैठकर बात कर ली जायें पापा से…. अब ये रोज रोज पापा का धमकी देना हर बात पर कि जायदाद से बेदखल कर दूँगा….. मानसिक रुप से बहुत परेशान कर रहा है मुझे…… उनकी इतनी कड़वी बातें और उनका हर काम में टांग अड़ाना क्यूँ  झेल रहे है हम सिर्फ ऐसलिये ही ना … Read more

सही दिशा…रश्मि झा मिश्रा: Moral stories in hindi

दरवाजे पर आह.. की आवाज के साथ गिरने की हड़बड़ाहट सुनकर दृष्टि ने दरवाजा खोला… तो सामने एक प्यारी सी लड़की साड़ी में लिपटी पैर पकड़े बैठी कराह रही थी…” क्या हुआ…!” दृष्टि बोल पड़ी… उसने पैर सीधा करने की कोशिश करते हुए कहा…” सीढ़ियां उतरने में अचानक पैर मुड़ गया… बहुत दर्द हो रहा … Read more

गंवार सास- अर्चना खंडेलवाल : Moral stories in hindi

“अरे!! सुजाता इस तरह से मुंह फुलाकर क्यों बैठी है? पार्क में आई है तो मजे कर, हम तो पार्क में आकर सारा तनाव भुल जाते है और तेरे माथे पर कितनी शिकन है, कुछ हो गया क्या?”  रेखा जी ने अपनी सहेली से पूछा। “हां, बहुत कुछ हुआ है, पर कैसे कहूं? जब से … Read more

होली है – शुभ्रा बैनर्जी : Moral stories in hindi

रितिका की यह पहली होली थी ससुराल में।मायके में कभी हुल्लड़ नहीं मचाया था उसने।घर की बड़ी थी।पापा के जाने के बाद बड़ी जिम्मेदारी से संभाला था मां और छोटे भाई-बहनों को।उसका यह मानना था कि अनुशासन में रखने से पहले स्वयं अनुशासित रहना होगा उसे। अपने सारे शौक मार कर भाई-बहनों को जीवन का … Read more

पहल – निभा राजीव “निर्वी” : Moral stories in hindi

व्यवसायी जानकी दास जी के दोनों पुत्रों रमेश जी और सुरेश जी में आपस में बहुत मेल भाव था। बड़े पुत्र रमेश जी की पत्नी नंदिनी भी छोटे पुत्र दिनेश जी के लिए पुत्रवत भाव रखती थी और सब में आपस में बहुत ही स्नेह था। दोनों देवरानी जेठानी भी बहुत प्रेम भाव से रहती … Read more

सासु बिना ससुराल – अमिता कुचया : Moral stories in hindi

आज के समय में सब लड़कियों के अरमान होते हैं।कि ससुराल बहुत अच्छा मिले।परिवार भी छोटा हो। ऐसा ही सोचकर नीलू के माता-पिता ने उसकी शादी कर दी, सब ननदों की शादी हो गई है। लड़कों में सबसे छोटा बेटा दामाद ही है ।बड़े भाई अलग रहते हैं ,कोई दिक्कत नहीं होगी। सबसे छोटा बेटा … Read more

‘जब अपने पर आन पड़ी !’ – प्रियंका सक्सेना : Moral stories in hindi

नलिनी ने हाउस मेड कांता से कहा, “कांता, मांजी को खाना-पीना कमरे में ही दे देना।”  “जी मेमसाहब।” कांता ने रोजाना की तरह खाना बनाया एक बजे तक पिंकी और पिंटू भी स्कूल से आ गए। दोनों के कपड़े बदलकर हाथ- पांव धुलाकर डायनिंग टेबल पर खाना लगाकर सबको बुलाया। “अरे आंटी! आप दादी को … Read more

अभूतपूर्व बदलाव – सुषमा यादव : Moral stories in hindi

अपने माता-पिता का परिचय कराने में शरम क्यों???? संदीप के माता-पिता गांव से हैं। संदीप की मां अशिक्षित और बिल्कुल देहाती रहन सहन वाली महिला है। पिता जी बारहवीं पास एक फैक्टरी में काम करते हैं। उन दोनों का जीवन बड़ी कठिनाईयों और संघर्षों में बीता। आर्थिक अभाव होते हुए भी उन्होंने संदीप को किसी … Read more

सिमरन ये तूने क्या किया ? – संगीता अग्रवाल : Moral stories in hindi

दिल्ली का एक ऐसा इलाका जहाँ ज्यादातर मध्यम वर्गीय लोग रहते है जिनमे से कुछ नौकरी पेशा है कुछ अपना कोई ना कोई व्यापार करते है। यूँ तो कोई खास बात नही इस इलाके मे रोज की तरह सुबह होती है और रोज की ही तरह शाम पर आज की सुबह कुछ अलग थी । … Read more

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