इन बूढ़ी आँखों ने सबसे अटूट रिश्ते को टूटते देखे हैं – कामिनी मिश्रा : Moral Stories in Hindi
काश कि उस वक्त मैं तेरी माँ को नहीं रोकती , उसे मोहित के साथ जाने देती , तो आज यह दिन नहीं देखना पड़ता….. अपनी लाचारी दिखाकर मैंने तेरी माँ का घर बर्बाद कर दिया इतनी भी मैं बीमार नहीं थी कि मैं कुछ कर नहीं सकती थी । इन आँखों ने अपने ही … Read more