अपने घर से मायका बन जाने का सफर भाग 3 – संगीता अग्रवाल
” मम्मी मैं भी तो तरस रही थी अब जल्दी से बढ़िया सा कुछ खिलाओ इतने मैं हाथ मुंह धोकर ये बैग के कपड़े अपनी अलमारी मे लगा कर आती हूँ !” रितिका ये बोलते हुए अपने कमरे की तरफ चल दी। थोड़ी देर बाद उसने अपनी पसंद का नाश्ता किया और माँ से बाते … Read more