साक्षात् लक्ष्मी है – विभा गुप्ता : Moral Stories in Hindi

New Project 48

सुनसान सड़क पर इक्कीस वर्षीय लक्ष्मी बेतहाशा दौड़े जा रही थी कि अचानक उसकी आँखों के सामने तेज रोशनी चमकी और वह एक गाड़ी से टकराकर अचेत हो गई।ड्राइवर ने तुरंत ब्रेक लगाकर गाड़ी रोकी और बाहर आकर एक बेहोश महिला को देखा तो चिल्लाया,” मालिकsssss..।”  माणिक लाल साथ बैठी पत्नी सुभद्रा से बोले,” चिंता … Read more

काव्या – शिव कुमारी शुक्ला : Moral Stories in Hindi

New Project 55

कव्या अपने पापा के गले लगकर रोये जा रही थी। पापा  मैं बहुत बुरी हूं। मैंने आपकी बात नहीं मानी। पापा मैं उसकी बातों से ऐसी सम्मोहित हो गई थी कि किसी की बात सही नहीं लगती थी। केवल वही सही लगता था उसकी बात अच्छी लगती थी। तभी हो अपने मुंह पर कालिख पोत … Read more

“पिंजरा”- कविता भड़ाना : Moral Stories in Hindi

New Project 60

विनीता के कानों में विदाई के समय, पिता के द्वारा दी गई नसीहत अभी भी गूंज रही थी…”आज से ससुराल ही तेरा असली घर है, हंसी खुशी आएगी तो पीहर के द्वार सदा खुले पाएगी लेकिन ससुराल से कोई शिकायत आई तो इस घर के दरवाज़े अपने लिए सदा के लिए बंद ही समझना”…. विनीता … Read more

अभागन – डाॅक्टर संजु झा : Moral Stories in Hindi

New Project 63

अंजना अपनी ननद के  गृहप्रवेश    का बेसब्री से इंतजार कर रही थी ,क्योंकि उसकी ननद ने उसके साथ ही बाजार जाकर काफी खरीदारी की थी। उसने भी ननद के पूरे परिवार के लिए उपहार लेकर रखे थे,भाई नहीं हैं तो क्या!बड़ी भाभी होने के नाते उसका भी कुछ फर्ज बनता था, परन्तु आज गृहप्रवेश के … Read more

सावित्री हो तुम – शुभ्रा बैनर्जी : Moral Stories in Hindi

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प्रीति ने दादी से पूछा था विवेक के रायपुर जाने के बाद”दादी,आपको क्या लगता है,पापा ठीक हो जाएंगे ना?”प्रीति की दादी जी के निजी जीवन के अनुभव और कुछ उम्र का तजुर्बा था कि ,कई मामलों में उनकी सलाह रामबाण का काम करती थी।गाय को देखकर बता देतीं थीं कि कितना दूध देती होगी,नाभि देखकर … Read more

हम अभागन नहीं हैं – प्रतिभा भारद्वाज ‘प्रभा’ : Moral Stories in Hindi

New Project 100

आज बहुत खुशी का दिन था….पूरे घर को फूलों से और रंगीन बल्बों से सजाया गया था…..आखिर नीलिमा की जिंदगी में इतने सालों बाद खुशी का अवसर आया था… उसकी बेटी श्रुति आज अधिकारी बन पहली बार घर आ रही थी… इतनी तैयारियां देख नीलिमा की आखों से खुशी के आसूं झलक आए और वो … Read more

कैसा ये प्यार है! – डॉक्टर संगीता अग्रवाल : Moral Stories in Hindi

New Project 97

हॉस्पिटल के बाहर तक उसकी चीखों की आवाज़ गूंज रही थी,उसे मिले जख्मों के दर्द की टीस थी भी बहुत ज्यादा,उसकी बूढ़ी,बीमार मां ही उसके सिरहाने बैठी उसे सहला रही थी,मां की आंखें गंगा जमना बन कर बह रही थीं, पेट की जाई औलाद का दर्द सहन जो नहीं कर पा रही थी वो,और दुख … Read more

अभागन – श्वेता सोनी : Moral Stories in Hindi

New Project 96

वह दिन याद आता है जब पुष्पा मामी नई नवेली दुल्हन बनाकर वीरू मामा के जीवन में आई थीं. पच्चीस बरस की मामी और चालीस बरस के मामा.. नाना जी के चल बसने के बाद घर की पहाड़ सी जिम्मेदारियां मामा के कोमल कंधों पर ही तो आ गई थीं. इंजीनियरिंग की पढ़ाई बीच में … Read more

“मां “अभागन नहीं होती – गीता वाधवानी : Moral Stories in Hindi

New Project 95

“बापू बापू उठो, देखो, जागो, उठो ना, मुन्ना कितना रो रहा है। उसके लिए बाजार से दूध ले आओ या फिर मुझे पैसे दो,मैं लेकर आती हूं।”8 साल की रानी ने सुबक कर हुए अपने पिता से कहा।     पर उसके पिता काशीलाल को होश ही कहां था। नशे में बड़बड़ाता हुआ, रानी को धक्का देकर … Read more

अभागन – संध्या सिन्हा : Moral Stories in Hindi

New Project 94

आज वट सावित्री व्रत का पर्व हैं और  सोसाइटी की सभी सुहागिन स्त्रियाँ खूब सज-धज कर सोसाइटी में ही स्थित मंदिर के पास लगे बरगद के पेड़ की पूजा -अर्चना  करने जा रही थी। मैं इस पर्व पैट अत्यधिक उदासे और दुःखी होती हूँ। थोड़ी आत्मग्लानि भी रहती है… क्योकि यह व्रत मैंने कभी शुरू … Read more

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