तोल-मोल – चंचल जैन : Moral Stories in Hindi

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रेखा जी अपनी बेटी शमा के साथ बैठ एक-एक उपहार खोलकर तोल-मोल कर रही थी। नव विवाहिता बेटा बहू घुमने गये थे। शमा भी हर उपहार पर अपनी टिप्पणी दे रही थी। “मम्मी, देखो ये पुराने जमाने का पर्स। कलर भी कितना फीका-फीका है। लगता है, चार सौ, पांच सौ से ज्यादा नहीं होगा।” ” … Read more

उपहार – शैलेश सिंह “शैल,, : Moral Stories in Hindi

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कुमार जी शहर में एक मल्टीनेशनल कम्पनी में जॉब करते थे। शहर में ही उनका बंगला था और उनके पास सभी तरह की शहरी सुख सुविधाएँ थी। बच्चे कॉन्वेंट स्कूल में पढ़ते थे और एक अच्छा जीवन जी रहे थे। वर्ष में एक दो बार कुमार जी का  परिवार के साथ गाँव आना जाना हो … Read more

दादी की शादी में मिला, वो संदूक – मनु वाशिष्ठ : Moral Stories in Hindi

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अस्सी नब्बे साल पहले, आज जैसा माहौल नहीं था। आज तो लड़कियां अपनी शादी में सब कुछ कपड़े, ज्वैलरी, होटल, खाने की, रुकने की व्यवस्था से लेकर हनीमून तक की प्लानिंग अपनी पसंद अनुसार करती हैं। पहले तो शादी का नाम सुनकर ही रोना धोना शुरू हो जाता, कई बार खुश होने पर भी लड़कियां … Read more

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